Comments (2)
18 Nov 2016 03:25 PM
कविता उत्तम हैं श्रीमान . मगर एक बात जानना चाहता हूँ आदरणीय ये “व् ” को आप “ब” क्यों लिखते हैं .
क्या आपको नही लगता सर की यह अशुद्ध हिंदी की पहचान हैं . और अच्छे लेखन में बिलकुल ठीक नही समझी
जाती हैं?
उत्तम रचना जी. आप मेरी रचना ‘मौसम ने ली अंगड़ाई’ पर अपनी प्रतिक्रिया अवश्य साझा करें जी.