आपकी पुस्तक यशस्विनी को पढ़ना मेरे लिए सौभाग्य की बात है। इसके माध्यम से मैं आपके अंदर मन मानस में झांक सका। एक कवित्री एक माँ एक स्त्री एक सशक्त समाज सशक्त अंग एक व्यवसायी व ऐसे अनेको कर्तव्यों को निभाते हुए आप मुझे जीवन पथ पर अग्रसर नज़र आयी। आपकी ये पुस्तक आपको साहित्य जगत में नये नये सोपान विजयी होने में करने में एक मील का पत्थर साबित हो ऐसी मेरी मान्यता है ।
एक अबोध बालक
आपकी पुस्तक यशस्विनी को पढ़ना मेरे लिए सौभाग्य की बात है। इसके माध्यम से मैं आपके अंदर मन मानस में झांक सका। एक कवित्री एक माँ एक स्त्री एक सशक्त समाज सशक्त अंग एक व्यवसायी व ऐसे अनेको कर्तव्यों को निभाते हुए आप मुझे जीवन पथ पर अग्रसर नज़र आयी। आपकी ये पुस्तक आपको साहित्य जगत में नये नये सोपान विजयी होने में करने में एक मील का पत्थर साबित हो ऐसी मेरी मान्यता है ।
एक अबोध बालक
बहुत बहुत आभार आपका आशीर्वाद सदा बना रहे।ये तो आपकी महानता है जो इस योग्य समझा।