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ऱूदादे दिल की दास्ताँँ हम सुनाते रहे उन्हें श़ामों स़हर। अश्क़ उनके रोकने से भी न रुके बहते रहे इस कदर।
श़ुक्रिया !
आपका शुक्रिया ?
बहुत बढ़िया जी
शुक्रिया आपका ?
बहुत सुंदर प्रस्तुति ?
मार्मिक प्रस्तुति।
ऱूदादे दिल की दास्ताँँ हम सुनाते रहे उन्हें श़ामों स़हर।
अश्क़ उनके रोकने से भी न रुके बहते रहे इस कदर।
श़ुक्रिया !
आपका शुक्रिया ?