Comments (6)
4 Mar 2020 09:23 AM
बहुत सुंदर ।
मेरे हृदय की बात कह दी आपने ।
Seema katoch
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4 Mar 2020 10:13 AM
Thankyou very much ji
2 Mar 2020 05:18 PM
अत्यंत भावपूर्ण चित्रण
प्रेम मे वार्तालाप के रस का प्रमुख स्थान है, कवि बिहारी,
का सोलहवीं सदी का प्रसिद्ध दोहा है।
बतरस लालच लाल की, मुरली धरी लुकाइ।
सौंह करैं भौंहनु हँसै, दैन कहैं नटि जाइ॥
#Biharilal #KaviBihari
… गोपियों ने कृष्ण की मुरली इसलिए छुपा दी ताकि उन्हें कृष्ण से बातें करने का मौका मिल जाए । साथ में गोपियाँ कृष्ण के सामने नखरे भी दिखा रही हैं, वे अपनी भौहों से तो कसमे खा रही हैं लेकिन उनके मुँह से ना ही निकलता है। #LordKrishna #Gopika
Seema katoch
Author
3 Mar 2020 12:04 PM
Thanks for such inspiring words
आपका लेखन शानदार, क्लासिक! आपकी एक कविता क्या पढ़ी, सारी की सारी पढ़ने की इच्छा बलवती हो गई.
धन्यवाद जी