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??सुबहन अल्लाह! बेहतरीन ग़ज़ल लिखी है आपने, डॉक्टर रजनी जी! मेरी रचना “माँ का आँचल” पर भी नज़र-ए-इनायत कीजिएगा, मेहरबानी होगी!?
बहुत सुंदर
??सुबहन अल्लाह!
बेहतरीन ग़ज़ल लिखी है आपने, डॉक्टर रजनी जी!
मेरी रचना “माँ का आँचल” पर भी नज़र-ए-इनायत कीजिएगा, मेहरबानी होगी!?