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11 Jul 2016 06:34 PM

आदरणीय अनुज कुमार जी अच्छी भावपूर्ण रचनाएं कर रहे हैं किन्तु कुछ बातों का ध्यान रखें.
ये बेदर्द जमाने की आहट……….यहाँ ‘ये’ लिखने का कोई अर्थ नहीं है.
समा रंगो से नहाई है ,………….समा ………के साथ नहाई / नहाया है होना चाहिए.
अंगडाई लेती ये बसन्त…………..बसंत के साथ लेती नहीं / लेता ये बसंत होना चाहिए.
मेरा उद्देश्य तनिक भी आपकी गलतियां निकालना नहीं है. किन्तु यह गलतियां आपके मार्ग में बाधक हैं. सादर.

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