पिता को समर्पित लेख इससे अच्छा हो ही नहीं सकता पहली बार पिता के मर्म कोई जाना और पहचाना है ।
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पिता को समर्पित लेख इससे अच्छा हो ही नहीं सकता पहली बार पिता के मर्म कोई जाना और पहचाना है ।