Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
In reply to Ajit Kumar "Karn"
27 Aug 2021 10:21 AM

श्रीमान,
ज़िंदगी की उम्मीदे भी दोनों के मिलकर साथ आगे बढ़ने से पूरी होंगी। हिंसा, द्वेष को छोड़कर मानवता और सद्भावना का दृष्टिकोण ही आने वाले भविष्य की सुखमय कल्पनाएँ दे सकेगा । ?

Loading...