Dr P K Shukla
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4 Aug 2020 11:06 AM
सही पकड़े हैं , आपका कथन तर्कसंगत है , पर अपनी इस भूल से पाठकों को गुदगुदाना था । वैसे मेरे कुछ सम्मानित मरीज़ बिना लिंग भेद के किन्नर भी हैं ।
यह संस्मरण आश्चर्य पैदा करता है, यूं तो मरीज को पर्ची बनानी होती है जिसमें उसके लिंग का विवरण रहता है, फिर भी यदि वह सब नहीं किया गया, तो भी महिला-और पुरुष में कुछ अन्य असमानता भी होती हैं, पहनावे के अतिरिक्त चाल-ढाल और शारीरिक बनावट आदि, फिर भी पता नहीं चल पाया हो तो, आश्चर्यजनक तो है ही, श्रीमान जी,सादर प्रणाम।