हरवंश हृदय
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28 May 2020 08:53 AM
बहुत खूब … महोदय
मेरे ग़म को अपना ग़म जो समझे वो दोस्त चाहिए।
मुझ पर जो दिलो जाँँ कुर्ब़ान कर दे वो दोस्त चाहिए।
श़ुक्रिया !