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9 May 2020 04:59 PM

शराबी को शराब मिलने की भनक भी लग जाए तो वह,सब कुछ दांव पर लगा देने को तैयार रहता है, शराबी और जुहारी में यह समानता सदियों से चली आ रही है। और सरकारों ने अपने कोष को बढ़ाने के लिए वह सब कुछ दांव पर लगा दिया है जिसे हम सबने डेढ़ महीने तक घरों में कैद होकर रोकने में अपना योगदान दिया था। वाह री सरकार दवा तो दे न सके, दारु देकर कृत कृत कर दिया। ईश्वर सद्बुद्धि प्रदान करें इन सबको।

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9 May 2020 06:38 PM

कटु सत्य वचन !

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