केवल शब्द नही है ‘माँ’ बल्कि बालक का पूरा संसार है।
जिससे उत्पन्न हुआ ये जग सारा ‘माँ’ ऐसा अलौकिक अवतार है।
आदरणीय आवरण जी आपका जवाब नहीं! हम अभिभूत हैं आपकी सहृदयता का। विश्वास है प्रतियोगिता से हटकर भी आपका सहयोग एवं मार्गदर्शन हमें निरंतर मिलता रहेगा। बहुत आभार।आपने, हम भी लिखना सीखना चाहते हैं। मार्गदर्शन की अपेक्षा आशीर्वाद और शुभकामनाओं का सदैव आकांक्षाी। प्रार्थना में याद रखने का सादर निवेदन
केवल शब्द नही है ‘माँ’ बल्कि बालक का पूरा संसार है।
जिससे उत्पन्न हुआ ये जग सारा ‘माँ’ ऐसा अलौकिक अवतार है।
आदरणीय आवरण जी आपका जवाब नहीं! हम अभिभूत हैं आपकी सहृदयता का। विश्वास है प्रतियोगिता से हटकर भी आपका सहयोग एवं मार्गदर्शन हमें निरंतर मिलता रहेगा। बहुत आभार।आपने, हम भी लिखना सीखना चाहते हैं। मार्गदर्शन की अपेक्षा आशीर्वाद और शुभकामनाओं का सदैव आकांक्षाी। प्रार्थना में याद रखने का सादर निवेदन