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18 Jun 2022 07:40 PM

आज भले ही धुंध छाई है,
मन अंधियारा छाया है।
दुश्मन ताल ठोक रहा है,
सर पर काल मढगया है।।
पर हार नहीं तू मानना प्यारे,
निश्चित तेरा ही “कल”होगा।।
– श्यामा

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