अनिल अहिरवार"अबीर"
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31 May 2021 12:42 PM
सादर प्रणाम धन्यवाद सर जी
मजबूरियां ही कुछ ऐसी होती है।
तोहमत लगाने वालों को हया कहां आती है।।
गहन चिंतन प्रणाम ??