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सैर कर दुनिया की गाफिल जिंदगानी फिर कहा,
जिंदगानी अगर रही तो नौजवानी फिर कहा l

हाथ पे हाथ धर नहीं कोई पूजा न धर्म,
कर्मवीर ही क्या जो कर न सके पथ्थर को खुदा और धर्म को ही कर्मll ???

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13 Sep 2016 12:43 PM

शुक्रिया। भाई जी

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