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लिखे तो थे खत हजार ,
पर कब हुआ था प्यार ।
जरा ये भी तो बता दीजिये,
दर्शक भी सुनने को हैं तैयार ।

मैंने आपको वोट दे दिया है आपका भी वोट मिल गया है हमें । वोट देने के लिए धन्यवाद ।

दर्शक सुनने को हैं तैयार ।

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3 Feb 2021 10:38 PM

न खबर लगी न पता चला।
प्यार का सिलसिला कब चला।
मिट गए फासले ,ले लिए फैसले।
“प्रेम “के लिए जब दिल मचला।।
प्रणाम आदरणीय!

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