Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings

आखिर बात आकर अब प्यार पर ठहरी है।
जिंदगी में प्यार नहीं तो जिंदगी बड़ी बेसुरी है।

श़ुक्रिया !

You must be logged in to post comments.

Login Create Account
Loading...