Seema katoch
Author
3 Jun 2020 06:02 PM
बिल्कुल सही,,,,यही दुनिया है,,,शुक्रिया जी
बहुत खूब लाजवाब
समाज में दूसरों का जिक्र और फिक्र कुछ लोगों के मनोरंजन का साधन है, कुछ अपने मन की कलुषिता का प्रदर्शन इसी माध्यम से करते हैं ।परन्तु सह्रदय, संवेदनशील मानवों के द्वारा भी एक दूसरे का हाल,चाल व ख्याल रक्खा जाता है और समाज उन्ही से जीवित है।
इस ज़माने में कौन किसकी खबर रखता है ।
किस्मत वाले हैं जिनपर कोई नजर रखता है ।