Posts Poetry Writing Challenge-2 210 authors · 4349 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid Previous Page 11 Next Mukesh Kumar Sonkar 21 Feb 2024 · 1 min read चंद्रयान-3 "चंद्रयान-3" खुशियां मनाओ सब मिलकर प्यारे, चांद पर पहुंच गए अब कदम हमारे। चंद्रयान-3 की सफल लैंडिंग पर, गूंज रहा हमारा नाम पूरी दुनिया भर। स्पेस रिसर्च के फील्ड में... Poetry Writing Challenge-2 · कविता · चंद्रमा · चंद्रयान मिशन · चंद्रयान-3 · स्पेस मिशन 1 105 Share Poonam Sharma 21 Feb 2024 · 1 min read हीरा कई बार जौहरी की नजर भी कुछ कमजोर पड़ जाती है, लगा रहता है रंग बिरंगे पत्थरो को तराशने में, उम्र ही गवा देता है इस सिलसिले में, असली हीरे... Poetry Writing Challenge-2 75 Share Tarkeshwari 'sudhi' 21 Feb 2024 · 1 min read खंडहर सामने एक खंडहर उँची पहाड़ी पर तन्हा सा खड़ा रहता है नज़र में । उसमें जलता बस एक दिया है । उम्मीद है कोई या कोई तपस्या , या फिर... Poetry Writing Challenge-2 1 134 Share Tarkeshwari 'sudhi' 21 Feb 2024 · 1 min read शरद जा रही है शरद ऋतु चुपचाप सी दबे पाँव लेकर अपने संग अरमान कितने ख़्वाहिशें अधूरी रह गयीं चाहत के पलों की टूटन कुछ खो गये कुछ पाते-पाते नहीं पा... Poetry Writing Challenge-2 1 138 Share VEDANTA PATEL 21 Feb 2024 · 1 min read *** कुछ पल अपनों के साथ....! *** "" चल चाचा जी... कुछ पल यहां गुजार लें.....! कदम-कदम पर उलझनों के फेरे हैं, ऊल-जलूल बातों से घिरे हम मिट्टी के ढेर हैं ; शायद..! ये कल,रहे या न... Poetry Writing Challenge-2 1 165 Share Tarkeshwari 'sudhi' 21 Feb 2024 · 1 min read तुम कि बहुत कम था तुम्हारी संवेदनाओं का विस्तार मेरी मजबूरियों को तुमने पहना दिया था बेेरुखी का जामा । कि फैसले लेने से पहले जानी होती वजहें कुछ किस रिश्ते... Poetry Writing Challenge-2 2 2 147 Share Poonam Sharma 21 Feb 2024 · 1 min read कहने का फर्क है कहने का फर्क है, हम अच्छे हैं या ,हम अच्छे हुआ करते थे। हमने कभी किसी को गैर ना समझा, इसीलिए शायद किसी ने हमें अपना न समझा। जिंदगी तू... Poetry Writing Challenge-2 74 Share Tarkeshwari 'sudhi' 21 Feb 2024 · 1 min read ग्रंथ नारी सौन्दर्य पर लिखे हैं ग्रंथ बहुत सारे अमर हो गये लिखकर उसकी देह ,रूप ,ज़ुल्फो पर हुए हैं गुणगान बहुत नाज़- नखरों के मगर नही आती नज़र मुझको किसी... Poetry Writing Challenge-2 137 Share Poonam Sharma 21 Feb 2024 · 1 min read फौजी अच्छे दामाद की खोज में, पहुंच गया था फौज में, सुंदर नौजवान बुलवाया, पुन् प्रश्न दोहराया, हां बेटा वेतन पचास हजार, गांव में जमीन बीघा पांच , पर ऊपर से... Poetry Writing Challenge-2 62 Share Tarkeshwari 'sudhi' 21 Feb 2024 · 1 min read कैदी कुछ बेवज़ह उदासियाँ बेवज़ह-सी उक़ताहट बाँधता अदृश्य- सा है पाश हमको यदाकदा देख लेते हैं जमाने की नज़र में ख़ामियां तब होकर रह जाते हैं अपने दायरे में क़ैद हम... Poetry Writing Challenge-2 130 Share Mukesh Kumar Sonkar 21 Feb 2024 · 1 min read बाबुल का आंगन "बाबुल का आंगन" बाबुल का वो आंगन जिसमें मैं पली बढ़ी, जहां मैं पैदा हुई अपने पांव पर जहां खड़ी हुई। याद हर पल आता है वो मायके का आंगन,... Poetry Writing Challenge-2 · कविता · बाबुल का आंगन · मां-बाप · माता पिता · मायका 1 193 Share Tarkeshwari 'sudhi' 21 Feb 2024 · 1 min read यादें दूब-सी फैली हैं जेहन में जड़ जमाकर गहराई में उखाड़ फेंकती हूँ जला देती हूँ रौंद भी देती हूं निष्ठुर बनकर मगर फिर सिर उठा लेती हैं कुछ वक़्त के... Poetry Writing Challenge-2 137 Share Mukesh Kumar Sonkar 21 Feb 2024 · 1 min read हमारी राष्ट्रभाषा हिन्दी *"हमारी राष्ट्रभाषा हिन्दी"* चाहे हों हम हिंदू मुस्लिम सिख या ईसाई, भारत माता की संतानें हम सब हैं भाई भाई। एक हमारी रगों में बहता खून और एक हैं हमारे... Poetry Writing Challenge-2 · Hindi Poem ( हिन्दी कविता ) · अंतरराष्ट्रीय मातृभाषा दिवस · कविता · मातृभाषा · मातृभाषा-हिन्दी 1 182 Share Kanchan Alok Malu 21 Feb 2024 · 1 min read बिना रुके रहो, चलते रहो, बिना रुके रहो, चलते रहो, जीवन की यात्रा में बनते रहो। राहों में मिलेंगे मंजिलें नई, हर कदम पर नई कहानियाँ साथ लाई। चुपचाप नहीं, बोलते रहो गीत, हर संघर्ष... Poetry Writing Challenge-2 198 Share Kanchan Alok Malu 21 Feb 2024 · 1 min read पढ़ाई सुबह की किरने छूने लाई, ज्ञान की राह में, पढ़ाई बनाई। किताबों के सागर में खो जाए, ज्ञान की लहरों में, मन बह जाए। शिक्षक की मुस्कान सिखाए, सपनों को... Poetry Writing Challenge-2 118 Share ओसमणी साहू 'ओश' 21 Feb 2024 · 1 min read "सोच खा जाती हैं" निश्चिंतता का कवच चीर, ये समझ, कहां से आ जाती है, मुझे सोच मेरी ही खा जाती हैं ; मुझे सोच मेरी ही खा जाती हैं। हो किसी से जब... Poetry Writing Challenge-2 · अल्फाज़ ए ओश · हिंदी कविताएं 3 154 Share Mahesh Tiwari 'Ayan' 21 Feb 2024 · 1 min read आनन्द का आनंद वो जिन्दादिल फनकार हमसे दूर कितने हो गया आनन्द का आनंद अनुराग सफर में खो गया आखिर क्यूँ इस तरह बावर्ची हुआ अजनबी वीरान हुआ प्रेमनगर छा गई खामोशी हर... Poetry Writing Challenge-2 · कविता 86 Share Mahesh Tiwari 'Ayan' 21 Feb 2024 · 1 min read दर्द तड़प जख्म और आँसू दर्द तड़प जख्म और आँसू मालिक ये कैसा शहर है बसाया कोई संगदिल है कोई तंगदिल है हैवान कोई बेरहम दिल है कैसे कैसे हैं इंसा ये तेरे खुदाया घुटती... Poetry Writing Challenge-2 · कविता 1 69 Share Mahesh Tiwari 'Ayan' 21 Feb 2024 · 1 min read कांटे बनकर जो काँटे बनकर सीने मे चुभे अपने ही चमन के फूल थे वो अब नाम से भी जो जलते हैं इस दिल के कभी हुजूर थे वो हर सितम सहे और... Poetry Writing Challenge-2 · कविता 1 108 Share Mahesh Tiwari 'Ayan' 21 Feb 2024 · 1 min read सफ़र में था जब तक रहा जहान मे हर वक्त सफर मे था रूके कदम तो बस जब तलक कफन मे था पहुंचे खुदा के समाने वो भी दिल्लगी कर उठा सच मे... Poetry Writing Challenge-2 · कविता 1 76 Share इंजी. संजय श्रीवास्तव 21 Feb 2024 · 1 min read तेरी शरण में आया हूं हे राम मेरे हे राम मेरे अब तेरी शरण में आया हूं बर्बाद किया जीवन अपना आशीष तेरा अब पाया हूं हे राम मेरे हे राम मेरे अब तेरी शरण... Poetry Writing Challenge-2 58 Share उमा झा 21 Feb 2024 · 1 min read शराब की दुकान(व्यंग्यात्मक) शराब की दुकान (व्यंग्य व्यंजन ) सरकार से मिला एक फरमान, खुलेगी अब शराब की दुकान । नेता को आया सोते जागते सपना, शराब पीने वालों को न होते कोरोना... Poetry Writing Challenge-2 1 2 99 Share Rekha khichi 21 Feb 2024 · 1 min read फोन का ख़ास नम्बर कुछ एहसास फोन से जुड़े होते हैं और ये किस्से कुछ ख़ास होते हैं,कभी आंखों में हसीं ख्वाब होते हैं तो कभी दर्द पास होते हैं। एक ख़ास नम्बर सबके... Poetry Writing Challenge-2 · कविता 1 130 Share Mahesh Tiwari 'Ayan' 21 Feb 2024 · 1 min read हमारा नमन थिरकती मचलती किरन को नमन फूल रंग खुश्बू चमन को नमन चाँद तारे जमी आसमा को नमन नये बरस की सुनहरी सुबह को नमन नमन आप सभी को हमारा नमन... Poetry Writing Challenge-2 · कविता 1 63 Share उमा झा 21 Feb 2024 · 3 min read स्वर संधि की व्याख्या दो स्वर वर्णों की होती जब युगलबंदी, तब ही दिखती स्वर संधि । नवम, नागेन्द्र, बसुधैव, हिमालय, हैं कितने किसलय स्वर संधि के आलय । स्वर संधि के पांच भेद,... Poetry Writing Challenge-2 1 109 Share Kuldeep mishra (KD) 21 Feb 2024 · 2 min read घर के राजदुलारे युवा। संघर्षों के मैदानों में , नूतन राह बनाते युवा। कम उम्र में ही पक जाते, घर के राजदुलारे युवा। जिम्मेदारियों के बोझ को, कंधो पर उठाते युवा। सात अजूबे हैं... Poetry Writing Challenge-2 · कविता 2 190 Share Dr. Ramesh Kumar Nirmesh 21 Feb 2024 · 1 min read धरा स्वर्ण होइ जाय नीली छतरी वाला नीली छतरीवाला करता है सभी की रक्षा हाँ बीच बीच में बेशक ही लेता वह सबकी परीक्षा होना नहीं निराश तुम ना समझे मकरंद परखा हीरा जाय... Poetry Writing Challenge-2 132 Share Dr. Ramesh Kumar Nirmesh 21 Feb 2024 · 1 min read जीवन के लक्ष्य, जीवन एक ज्योति, या जीवन एक झंझावात, जीवन है तिमिरमय या जीवन है पद्मावत। जीवन की उपमा कितनी जीवन से कितनी आशा कैसे जीवन के मोह को कहूँ जीवन की... Poetry Writing Challenge-2 113 Share Dr. Ramesh Kumar Nirmesh 21 Feb 2024 · 1 min read निर्मेष के दोहे चाहे वह धनवान हो, या कि रहा बलवान। डसा कोरेना ने सबको, निर्भय हो भगवान।। बंद तुम्हारे मंदिर भी, बंद हो गया धाम। भक्तों से तुम भी थके, करते हो... Poetry Writing Challenge-2 102 Share Dr. Ramesh Kumar Nirmesh 21 Feb 2024 · 2 min read दृष्टिबाधित भले हूँ दृष्टिबाधित भले हूँ पर हीन भावना नही दिव्यदृष्टि धारी हू, दया की दरकार नही राह खुद अपना बनाते हम रहते है सागर को नदी की दरकार कभी है नही। दूसरे... Poetry Writing Challenge-2 119 Share Shutisha Rajput 21 Feb 2024 · 1 min read मौसम बरसात का मौसम ने ली अंगड़ाई, फूलों,पोधों व इन हसीन, वादियों पर बहार आई। सर्दी जाने को थी,गरमी का आगमन था, लेकिन बरसात ने आकर ला दिया, हर दिल में लड़कपन सा।... Poetry Writing Challenge-2 · कविता 1 100 Share Dr. Ramesh Kumar Nirmesh 21 Feb 2024 · 1 min read दादी की वह बोरसी कितना सर्द मौसम है पर वो सुहानी शाम है , जलती अंगीठी के पास ही बस केवल आराम है आता है गांव याद हमें दादी की वह बोरसी, जिसमे डालते... Poetry Writing Challenge-2 90 Share Dr. Ramesh Kumar Nirmesh 21 Feb 2024 · 2 min read दीवाली धन वैभव संपदा से आकंठ भरपूर यह दीवाली जमती नही मुझे अपने बचपन की दीवाली है याद आ रही बरबस अभी। अब की सोकाल्ड रंगोलियों में वह कसक और अपील... Poetry Writing Challenge-2 148 Share Dr. Ramesh Kumar Nirmesh 21 Feb 2024 · 1 min read भाईदूज रक्षाबंधन पर आयी नहीं शायद बीमार पड़ी थी वह, भाईदूज में बहना मेरी अब दौड़ी दौड़ी आयी वह। मेरे पसंद की लिए मिठाई कुमकुम लाल चटकता सा, लिए मोगरे की... Poetry Writing Challenge-2 98 Share Dr. Ramesh Kumar Nirmesh 21 Feb 2024 · 1 min read दो जून की रोटी भार्या ने कहा कि मैं अब बस एक गृहणी हूँ, अपना असल वजूद खो बस जीवन संगिनी हूँ। बस एक काम करने की मशीन बन रह गयी हूँ, कितना भी... Poetry Writing Challenge-2 92 Share Dr. Ramesh Kumar Nirmesh 21 Feb 2024 · 1 min read भार्या आज सुबह ही भार्या ने मुझे कोसना शुरू किया मेरा जॉब छुड़वा कर जिंदगी को झंड है बनाया। कम से कम चार पैसे सदा मेरे हाथ रहते थे कभी भी... Poetry Writing Challenge-2 124 Share Dr. Ramesh Kumar Nirmesh 21 Feb 2024 · 1 min read क्या खोया क्या पाया जीवन की सांध्य बेला है आओ आकलन कर ले, क्या खोया, क्या पाया आओ कुछ तो सोच ले। बचपन में माँ बापू का अनवरत अनुशासन , उसके बाद से लगातार... Poetry Writing Challenge-2 120 Share Shutisha Rajput 21 Feb 2024 · 1 min read घमंडी है आज का इन्सान आज दुनिया में जीना ना आसान है, क्योंकी आज भगवान बना इन्सान है। आज के इन्सान में भरा है घमंड इतना, कि उसे हर दूसरा इन्सान दिखाई देता है, तिनके... Poetry Writing Challenge-2 · कविता 1 108 Share Dr. Ramesh Kumar Nirmesh 21 Feb 2024 · 1 min read आ अब लौट चले आ अब लौट चले बहुत देर तक गंगा तट पर रहा प्रतीक्षा करता प्रिये हो रहा दिवाकर अस्तांचल सोचा आ अब लौट चले। रक्ताभ नीर नदी की मानो उष्ण सूर्य... Poetry Writing Challenge-2 106 Share Shutisha Rajput 21 Feb 2024 · 1 min read दीवानी राधा तो दिवानी है, श्री बांके बिहारी की। नहीं लगता है दिल उसका, जब तक न देखे सूरत तुम्हारी जी। नैन ना खोले वो, मुख से कुछ भी न बोले... Poetry Writing Challenge-2 · कविता 1 155 Share VINOD CHAUHAN 21 Feb 2024 · 1 min read कोई मंझधार में पड़ा है कोई तुफान में घिरा है तो कोई मंझधार में पड़ा है आदमी आदमी से न जाने कौन सी तकरार में पड़ा है जिसे भी देखिए बस खोया है अपनी ही... Poetry Writing Challenge-2 2 109 Share Dr. Ramesh Kumar Nirmesh 21 Feb 2024 · 2 min read मदनोत्सव बीते कई दिनों से विभिन्न राजनैतिक चर्चाओं में पूरा शहर व देश मसगूल था , बसन्त की आहट का किसी को कदाचित पता ही नहीं चला था I अचानक आज... Poetry Writing Challenge-2 122 Share VINOD CHAUHAN 21 Feb 2024 · 1 min read वक्त तुम्हारा साथ न दे तो पीछे कदम हटाना ना वक्त तुम्हारा साथ ना दे तो पीछे कदम हटाना ना विकट समय में रख हौसला अपने होश गंवाना ना अच्छा माॅ॑झी नांव कभी भी बीच मंझधार नहीं छोड़े आंधी और... Poetry Writing Challenge-2 · V9द चौहान · कविता 1 202 Share Ghanshyam Poddar 21 Feb 2024 · 2 min read सूरज नहीं थकता है सूरज को चैन कहां, आराम कहां, अभिमान कहां? जहां भी रहता है, रैन कहां, रात कहां,अंधकार कहां? उसे पता है, आगे और जाना है अभी कहां- कहां? कभी उत्तरायण होता... Poetry Writing Challenge-2 · कविता 116 Share Rahul Singh 21 Feb 2024 · 1 min read अस्पताल की विवशता रोगी बिल्कुल अज्ञान में, अस्पताल के दर्द से भरे किनारों में। दवाओं की गोलियों से चिढ़कर उम्मीद की किरणों के धुंध में। डॉक्टरों की हवाओं में संघर्ष, नर्सों की मुस्कान... Poetry Writing Challenge-2 · कविता 74 Share Ajay Mishra 21 Feb 2024 · 1 min read स्त्री यश तेज ज्ञान साहस कर्मठता यश प्रसिद्धि संपन्नता ममता तेज विनम्रता रिद्धि व सिद्धि पथ प्रशस्त हो निष्कंटक निर्बाध प्रकाश को छू लो तुम अपने हाथों से नीले आकाश को... Poetry Writing Challenge-2 1 113 Share Mamta Rani 21 Feb 2024 · 1 min read तुझको मांग लेते हैँ चलो एक बार तुझसे तुझी को मांग लेते हैँ फिर से उसी दौर का साथ मांग लेते फिर हैँ वक़्त पे धूल जमी है बिखरी यादों का चलो इस पल... Poetry Writing Challenge-2 · कविता 1 84 Share Mamta Rani 21 Feb 2024 · 1 min read गुलजार हो गये मयखाने शहर भर के सब गुलजार हो गये तुम जो आये इस जिंदगी में , बहार हो गये ये जिंदगी गुनगुनाने लगी थी ,साथ तुम्हारे देख तुम्हारे अधरों को ,हम... Poetry Writing Challenge-2 · कविता 2 143 Share Mamta Rani 21 Feb 2024 · 1 min read जिंदगी है तुझसे जिंदगी है तुझसे खूबसूरत,फिर ये दिल तेरे नाम क्यों ना हो जिंदगी की धूप तुमसे,फिर तुम्हारे साथ् ये शाम क्यों ना हो तेरे दरस को तरसे ये आँखे तुझसे मिलन... Poetry Writing Challenge-2 · Poem 1 101 Share VEDANTA PATEL 21 Feb 2024 · 1 min read *** पुद्दुचेरी की सागर लहरें...! *** " पुद्दुचेरी के तट पर बैठा आवारा मन... देखता नजर नीला आसमान...! कानों में शोर मचाते हवाओं के जोर.. और विभिन्न विचारों के हिलोर...! फिर देखा मैंने, सागर के उन... Poetry Writing Challenge-2 490 Share Previous Page 11 Next