महेश कुमार (हरियाणवी) "कुछ खत मोहब्बत के" - काव्य प्रतियोगिता 1 post Sort by: Latest Likes Views List Grid महेश कुमार (हरियाणवी) 1 Feb 2021 · 1 min read प्यार के बोल (घनाक्षरी छंद) देखा है वो वक़्त ज्ञानी, रुक जाती है जुबानी। सिल जाते होंठ जहाँ, स्वयं नाप-तोल में।। रूह से ये मन बोले, आंखों में ना आंखें डोले। सुनने है शब्द सांझे,... "कुछ खत मोहब्बत के" - काव्य प्रतियोगिता · कविता 7 76 580 Share