■ मुक्तक…
■ आज का मुक्तक…
दिल अगर एक गुलशन है तो यादें उसमें आज़ादी से उड़ान भरते परिंदों और फूल की पंखुड़ियों जैसी। इनके बलबूते कोई बागवान पतझड़ में भी खुश नज़र आए तो सैयाद का हैरत में नज़र आना कोई हैरत की बात नहीं।
【प्रणय प्रभात】
■ आज का मुक्तक…
दिल अगर एक गुलशन है तो यादें उसमें आज़ादी से उड़ान भरते परिंदों और फूल की पंखुड़ियों जैसी। इनके बलबूते कोई बागवान पतझड़ में भी खुश नज़र आए तो सैयाद का हैरत में नज़र आना कोई हैरत की बात नहीं।
【प्रणय प्रभात】