हृदय में धड़कन सा बस जाये मित्र वही है
हृदय में धड़कन सा बस जाये मित्र वही है
बिन कहे जो दर्द समझ जाये मित्र वही है
मिलते तो सैकड़ों हैं इस दुनिया में मित्र यारों
हृदय जिससे मिल जाए बस मित्र वही है
संजय श्रीवास्तव
बालाघाट मध्यप्रदेश