Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
15 Jan 2023 · 2 min read

#सोच_कर_समझिए-

■ सोच कर समझिएगा-
【प्रणय प्रभात】
कभी सोच कर देखिएगा। बहुत कुछ समझ आएगा। इतिहास के मुताबिक एक दिन का बादशाह बन कर चमड़े के सिक्के चलाने वाला एक भिश्ती यदि स्थाई तौर पर सिंहासन संभाल लेता तो क्या होता? पूरी तरह संभव था कि सिक्कों के बाद हमारे बर्तन-भांडे, कपड़े-लत्ते, खेल-खिलौने सब कुछ चमड़े के होते। इस उदाहरण से आप भरोसा कर सकते हैं कि ईश्वरीय शक्ति क्षुद्र सोच वाले इंसान को बड़े नहीं, केवल छोटे अवसर ही देती है। ताकि उसकी मंशा और औक़ात सब समझ सकें। मैं तो यह बात 35 साल पहले कह भी चुका हूं। कुछ इस अंदाज़ में :-
”नहीं कुछ है तो सब कुछ है,
भला उस वक्त क्या होता?
मुक़द्दर हाथ में उसके अगर,
क़ानून दे देता।।
सलामत एक सिर मिलता नहीं,
ऐ यार ढूंढे से।
ख़ुदा गंजे को भूले से
अगर नाखून दे देता।।”
अभिप्राय बस इतना कि नीचे वालों की परवाह छोड़, ऊपर वाले पर विश्वास करें। ऐरे-गैरे-नत्थू-ख़ैरे, लल्लू-पंजू, रंगा-बिल्ला, चंगू-मंगू टाइप के लोग आते-जाते रहे हैं। आगे भी आते-जाते रहेंगे। बिगाड़ कुछ नहीं पाएंगे। ना सनातन-आस्था का ना सनातनियों का।
सुर-असुर संग्राम हर युग मे हुआ है। इस युग मे होना भी लाजमी है। किसी दो कौड़ी के शिक्षा मंत्री की उल्टी शिक्षा से न गंगा की धारा मुड़ेगी, न चन्दन की सुगंध जाएगी। जो शाश्वत है शाश्वत रहेगा। श्वान-श्रगालों के ऊपर मुंह कर रोने से कुछ नहीं होता। जुगनू सूरज की ओर सदा से थूकते आए हैं, जो उनके अपने चेहरों पर गिरता आया है। चौंकिए मत, भौंकने दीजिए। प्रवृत्ति से अधम जो हैं बेचारे। फिर हमारी मानस जी मे लिखा भी है :-
“जेहि विधिना दारुन दुख देही।
ताकी मति पहले हर लेही।।”
जय राम जी की।
जय रामायण जी की।।
जय बाबा तुलसीदास की।।।
🤣🤣🤣🤣🤣🤣🤣🤣

Language: Hindi
127 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
You may also like:
जाने कैसे दौर से गुजर रहा हूँ मैं,
जाने कैसे दौर से गुजर रहा हूँ मैं,
नील पदम् Deepak Kumar Srivastava (दीपक )(Neel Padam)
झर-झर बरसे नयन हमारे ज्यूँ झर-झर बदरा बरसे रे
झर-झर बरसे नयन हमारे ज्यूँ झर-झर बदरा बरसे रे
हरवंश हृदय
प्यार का रिश्ता
प्यार का रिश्ता
Surinder blackpen
💐 Prodigy Love-44💐
💐 Prodigy Love-44💐
शिवाभिषेक: 'आनन्द'(अभिषेक पाराशर)
छंद
छंद
राजीव नामदेव 'राना लिधौरी'
प्याली से चाय हो की ,
प्याली से चाय हो की ,
sushil sarna
आकांक्षा तारे टिमटिमाते ( उल्का )
आकांक्षा तारे टिमटिमाते ( उल्का )
goutam shaw
दुनिया
दुनिया
Jagannath Prajapati
मौन पर एक नजरिया / MUSAFIR BAITHA
मौन पर एक नजरिया / MUSAFIR BAITHA
Dr MusafiR BaithA
पिता बनाम बाप
पिता बनाम बाप
Sandeep Pande
प्रार्थना
प्रार्थना
Shally Vij
तूफ़ानों से लड़करके, दो पंक्षी जग में रहते हैं।
तूफ़ानों से लड़करके, दो पंक्षी जग में रहते हैं।
डॉ. अनिल 'अज्ञात'
प्रकृति ने चेताया जग है नश्वर
प्रकृति ने चेताया जग है नश्वर
Buddha Prakash
बिल्ली
बिल्ली
Manu Vashistha
#चाह_वैभव_लिए_नित्य_चलता_रहा_रोष_बढ़ता_गया_और_मैं_ना_रहा।।
#चाह_वैभव_लिए_नित्य_चलता_रहा_रोष_बढ़ता_गया_और_मैं_ना_रहा।।
संजीव शुक्ल 'सचिन'
बुद्ध पुर्णिमा
बुद्ध पुर्णिमा
Satish Srijan
"शिक्षा"
Dr. Kishan tandon kranti
ईश्वर
ईश्वर
Shyam Sundar Subramanian
दुनिया को छोड़िए मुरशद.!
दुनिया को छोड़िए मुरशद.!
शेखर सिंह
कवि के उर में जब भाव भरे
कवि के उर में जब भाव भरे
लक्ष्मी सिंह
अपने आसपास
अपने आसपास "काम करने" वालों की कद्र करना सीखें...
Radhakishan R. Mundhra
तुमसे मैं एक बात कहूँ
तुमसे मैं एक बात कहूँ
gurudeenverma198
#प्रभात_चिन्तन
#प्रभात_चिन्तन
*Author प्रणय प्रभात*
सम्मान करे नारी
सम्मान करे नारी
Dr fauzia Naseem shad
देखकर प्यारा सवेरा
देखकर प्यारा सवेरा
surenderpal vaidya
3191.*पूर्णिका*
3191.*पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
*रंग पंचमी*
*रंग पंचमी*
ओमप्रकाश भारती *ओम्*
आजादी
आजादी
नूरफातिमा खातून नूरी
चुपचाप सा परीक्षा केंद्र
चुपचाप सा परीक्षा केंद्र"
Dr Meenu Poonia
*शुभकामनाऍं*
*शुभकामनाऍं*
Ravi Prakash
Loading...