सुकरात की नियति
तानाशाहों को
पसंद नहीं
जलते हुए सवाल!
मैं जान-बूझकर
आफ़त मोलूं
मेरी क्या मजाल!
जिन लोगों को
जगाने के लिए
बांग देता है मूर्गा!
वही लोग तो
आख़िरकार
करते उसे हलाल!!
Shekhar Chandra Mitra
#FreedomOfSpeech
तानाशाहों को
पसंद नहीं
जलते हुए सवाल!
मैं जान-बूझकर
आफ़त मोलूं
मेरी क्या मजाल!
जिन लोगों को
जगाने के लिए
बांग देता है मूर्गा!
वही लोग तो
आख़िरकार
करते उसे हलाल!!
Shekhar Chandra Mitra
#FreedomOfSpeech