Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
31 Mar 2024 · 1 min read

सच्चे कवि और लेखक का चरित्र।

सच्चे कवि और लेखक का चरित्र।

सच्चा लेखक,कवि और रचनाकार वो होता है जो दुनिया में रहकर भी दुनियादारी से परे रहता है।वो दुनिया की हर छोटी-छोटी बातों को भी बहुत गहराई,बहुत सूक्ष्मता से,पूर्ण सत्यता औऱ पूर्ण ज्ञान से समझता है।बहुत सहनशीलता और संवेदनशीलता के साथ उन्हें अनुभव करता है।

हर घटना,हर बात को लिखते समय,उस घटना और उस बात की भावनाओं में बहता,उबरता है। एक छोटी सी रचना भी, अपनी रचना के लिए,एक सच्चे कवि,लेखक और रचनाकार को अपनी एक अलग दुनिया रचने के लिए विवश कर
देती है।

एक रचनाकार,एक लेखक और एक कवि जितना दुनिया में रहता है, उतना ही दुनिया से अलग भी रहता है…कारण उसमें दुनिया को समझने की इतनी सूक्ष्म दृष्टि होती है कि उस पर दुनिया की दिखावे,बेईमानी,झूठ और बुराई की परत चढ़ नहीं पाती। सच्चा रचनाकार कठोर नहीं बनता है, कोमल रहता है। वो दिल से,एक सच्चे और अच्छे दिल से चलता है।सही और ग़लत को बहुत सूक्ष्मता से समझता है इसलिए सच्चा,निष्पक्ष और न्यायशील रहता है।

प्रिया प्रिंसेस पवाँर
Priya Princess Panwar
स्वरचित,मौलिक
नियर द्वारका मोड़,नई दिल्ली-78

2 Likes · 2 Comments · 79 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
You may also like:
बाल कविता :भीगी बिल्ली
बाल कविता :भीगी बिल्ली
Ravi Prakash
जुनून
जुनून
अखिलेश 'अखिल'
किस तरह से गुज़र पाएँगी
किस तरह से गुज़र पाएँगी
हिमांशु Kulshrestha
ये कमाल हिन्दोस्ताँ का है
ये कमाल हिन्दोस्ताँ का है
अरशद रसूल बदायूंनी
ऐसे थे पापा मेरे ।
ऐसे थे पापा मेरे ।
Kuldeep mishra (KD)
प्रेम की नाव
प्रेम की नाव
Dr.Priya Soni Khare
दोहा
दोहा
डाॅ. बिपिन पाण्डेय
#दुर्दिन_हैं_सन्निकट_तुम्हारे
#दुर्दिन_हैं_सन्निकट_तुम्हारे
संजीव शुक्ल 'सचिन'
मेरी भी सुनो
मेरी भी सुनो
भरत कुमार सोलंकी
सुख-साधन से इतर मुझे तुम दोगे क्या?
सुख-साधन से इतर मुझे तुम दोगे क्या?
Shweta Soni
धर्म जब पैदा हुआ था
धर्म जब पैदा हुआ था
शेखर सिंह
सर्वश्रेष्ठ कर्म
सर्वश्रेष्ठ कर्म
Dr. Upasana Pandey
*वो खफ़ा  हम  से इस कदर*
*वो खफ़ा हम से इस कदर*
सुखविंद्र सिंह मनसीरत
*खोटा था अपना सिक्का*
*खोटा था अपना सिक्का*
Poonam Matia
मैं इन्सान हूं, इन्सान ही रहने दो।
मैं इन्सान हूं, इन्सान ही रहने दो।
नेताम आर सी
पेड़ से कौन बाते करता है ?
पेड़ से कौन बाते करता है ?
Buddha Prakash
विपत्ति आपके कमजोर होने का इंतजार करती है।
विपत्ति आपके कमजोर होने का इंतजार करती है।
Paras Nath Jha
*दिल चाहता है*
*दिल चाहता है*
DR ARUN KUMAR SHASTRI
दिल का हर अरमां।
दिल का हर अरमां।
Taj Mohammad
खेल और भावना
खेल और भावना
Mahender Singh
मजदूर
मजदूर
Dinesh Kumar Gangwar
मौत ने पूछा जिंदगी से,
मौत ने पूछा जिंदगी से,
Umender kumar
आशा की एक किरण
आशा की एक किरण
Mamta Rani
इबादत आपकी
इबादत आपकी
Dr fauzia Naseem shad
ऐ दिल न चल इश्क की राह पर,
ऐ दिल न चल इश्क की राह पर,
अभिषेक पाण्डेय 'अभि ’
"क्या देश आजाद है?"
Ekta chitrangini
काल चक्र कैसा आया यह, लोग दिखावा करते हैं
काल चक्र कैसा आया यह, लोग दिखावा करते हैं
पूर्वार्थ
*रामलला का सूर्य तिलक*
*रामलला का सूर्य तिलक*
Ghanshyam Poddar
■ मारे गए गुलफ़ाम क़सम से मारे गए गुलफ़ाम😊
■ मारे गए गुलफ़ाम क़सम से मारे गए गुलफ़ाम😊
*प्रणय प्रभात*
नक़ली असली चेहरा
नक़ली असली चेहरा
Dr. Rajeev Jain
Loading...