Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
13 Aug 2023 · 1 min read

ब्याही जाती हैं लड़कियां

ब्याही जाती हैं लड़कियां __
कहने को तो ब्याही जाती हैं लड़कियां, लेकिन
कुछ लड़कियों को मिलते हैं, प्रेमी!
कुछ लड़कियों को मिलते हैं, पति! और
कुछ लड़कियों को मिलते हैं, पुरुष!

प्रथम तरह के पति, लाते हैं फूलों के बुके/ तोहफे
दूसरी तरह के पति, लाते हैं जरुरत के सामान
तीसरी तरह के पति,उन्हें कोई सरोकार नहीं

प्रथम तरह की लड़कियां,सजती हैं गजरे/गहनों में
दूसरी तरह की लड़कियां,गंधाती हैं पसीने मसाले में
तीसरे तरह की लड़कियां,बरती जाती हैं “यूज एंड थ्रो”

प्रथम तरह की लड़कियां,रहती हैं नाजुक/बिंदास
दूसरी तरह की लड़कियां,निभाती हैं जिम्मेदारियां
तीसरी तरह की लड़कियां,फिट होती हैं सामान की तरह

प्रथम तरह की लड़कियां,उन्मुक्त मचलती जलप्रपात सी
दूसरी तरह की सुख दुख, खुद में समाहित करती सागर सी
तीसरी विस्मृत/तिरस्कृत मौन की नाव से पार लगाती केवट सी

प्रथम तरह की लड़कियों के जाने पर,
बिलखते हैं पति!
द्वितीय तरह की लड़कियों के जाने पर,
उनकी अहमियत समझते हैं पति!
तीसरी तरह की लड़कियों को
उकसाया जाता है जाने के लिए,
खत्म किया जाता है मान सम्मान
छीन ली जाती है सोचने समझने की शक्ति
और फिर उनके जाने पर,
“कोई फर्क नहीं” के अहं संग जीते हैं,पुरुष/ पति!
__ मनु वाशिष्ठ

1 Like · 188 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
Books from Manu Vashistha
View all
You may also like:
बाकई में मौहब्बत के गुनहगार हो गये हम ।
बाकई में मौहब्बत के गुनहगार हो गये हम ।
Phool gufran
कोई भी
कोई भी
Dr fauzia Naseem shad
*गाड़ी निर्धन की कहो, साईकिल है नाम (कुंडलिया)*
*गाड़ी निर्धन की कहो, साईकिल है नाम (कुंडलिया)*
Ravi Prakash
3484.🌷 *पूर्णिका* 🌷
3484.🌷 *पूर्णिका* 🌷
Dr.Khedu Bharti
लिख देती है कवि की कलम
लिख देती है कवि की कलम
Seema gupta,Alwar
रमेशराज के 2 मुक्तक
रमेशराज के 2 मुक्तक
कवि रमेशराज
..
..
*प्रणय*
तो क्या हुआ
तो क्या हुआ
Sûrëkhâ
सजन हमने  लगाई है तुम्हारे  नाम की मेंहदी
सजन हमने लगाई है तुम्हारे नाम की मेंहदी
Dr Archana Gupta
हर किसी पर नहीं ज़ाहिर होते
हर किसी पर नहीं ज़ाहिर होते
Shweta Soni
आई वर्षा
आई वर्षा
Dr. Pradeep Kumar Sharma
अब भी वही तेरा इंतजार करते है
अब भी वही तेरा इंतजार करते है
ठाकुर प्रतापसिंह "राणाजी "
आरजू ओ का कारवां गुजरा।
आरजू ओ का कारवां गुजरा।
Sahil Ahmad
इश्क़-ए-क़िताब की ये बातें बहुत अज़ीज हैं,
इश्क़-ए-क़िताब की ये बातें बहुत अज़ीज हैं,
डॉ. शशांक शर्मा "रईस"
समय को व्यर्थ नहीं गंवाना चाहिए, कुछ समय शोध में और कुछ समय
समय को व्यर्थ नहीं गंवाना चाहिए, कुछ समय शोध में और कुछ समय
Ravikesh Jha
तथाकथित...
तथाकथित...
TAMANNA BILASPURI
कुछ खास शौक नही है मुझे जीने का।
कुछ खास शौक नही है मुझे जीने का।
Ashwini sharma
रजस्वला
रजस्वला
के. के. राजीव
ना जाने किस मोड़ पे भाग्य किसी का बदल जाए!
ना जाने किस मोड़ पे भाग्य किसी का बदल जाए!
Ajit Kumar "Karn"
नफरत थी तुम्हें हमसे
नफरत थी तुम्हें हमसे
Swami Ganganiya
मजदूर दिवस पर विशेष
मजदूर दिवस पर विशेष
Harminder Kaur
Growth requires vulnerability.
Growth requires vulnerability.
पूर्वार्थ
फिर क्यों मुझे🙇🤷 लालसा स्वर्ग की रहे?🙅🧘
फिर क्यों मुझे🙇🤷 लालसा स्वर्ग की रहे?🙅🧘
डॉ० रोहित कौशिक
एक मुस्कान के साथ फूल ले आते हो तुम,
एक मुस्कान के साथ फूल ले आते हो तुम,
Kanchan Alok Malu
"मुझे लगता है"
Dr. Kishan tandon kranti
*** हम दो राही....!!! ***
*** हम दो राही....!!! ***
VEDANTA PATEL
Who am I?
Who am I?
R. H. SRIDEVI
The Nature
The Nature
Bidyadhar Mantry
ଏହା ହେଉଛି ସମୟ
ଏହା ହେଉଛି ସମୟ
Otteri Selvakumar
डॉ अरुण कुमार शास्त्री
डॉ अरुण कुमार शास्त्री
DR ARUN KUMAR SHASTRI
Loading...