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21 Aug 2021 · 2 min read

बिन भाई की बहन – राखी गीत – डी के निवातिया

बिन भाई की बहन राखी गीत

भाई नहीं है जिसका उससे राखी कौन बंधाये
बिन भाई की जो बहना हो कैसे फर्ज निभाये,
अगर नहीं है भाई मेरा, उसमे मेरा दोष क्या है,
बहना पापा तुम ही बोलो इस पर कहना क्या है!!

सुनकर इतना, बोल पड़ी, बड़ी उसकी बहना,
राखी मेरी कलाई बाँध दे फिर न ऐसा कहना,
भाई नहीं तो क्या हुआ मैं किस बात में कम हूँ,
आज तलक तो कहती आई मैं तेरे भाई सम हूँ !!

क्या हुआ जो आज तूने ऐसा मन मे सोचा,
प्यार हमारा कम हुआ या और कोई है लोचा,
मन हुआ तेरा क्यों अधीर बात मुझे बता दे,
जो भी द्वेष पला तेरे मन में सारा आज जता दे !!

जब तक तेरी बहन खड़ी मन क्यूँ छोटा करती
भाई से बढ़कर प्यार दूंगी वायदा तुझसे करती
बढ़ा हाथ बड़ी बहना बोली राखी अभी सजा दे,
चावल,चंदन, रोली, तिलक माथे अभी सजा दे !!

सुनकर दीदी की बातें छोटी हँसकर बोली,
तुम तो मेरा सब कुछ हो दी मैंने की ठिठोली
कौन कहता राखी सिर्फ भाई को ही बाँधे
इतिहास गवाह है इस बंधन में कोई किसे भी बांधे!!

बहन की कलाई पर राखी बाँध रही इक बहना,
करती आज वादा तुझसे हमें सदा संग में रहना,
कठिन जो आए जीवन में अकेले तुम न सहना,
जब तक तेरी बहन बड़ी है, भाई इसे ही कहना !!

न चाहे वो धन दौलत, न मांगे कोई उपहार,
इतनी चाहत बहना करती बना रहे ये प्यार,
रिश्ता चाहे कोई भी हो कहता है ये त्योहार,
राखी बंधन से मिलता विश्वास अमिट अपार !!

मेरी कलाई सजा दे राखी, माथे चन्दन कर दे,
बाप तेरा आज भाई बना है राखी बंधन कर दे,
हाथ फैलाए खड़ा सामने उसका वंदन कर दे,
थाल सजाकर तिलक धूप से तू अभिनंदन कर दे !!

हर फर्ज हर रिश्ता तुझसे बाप तेरा निभाएगा,
जब जब भी तू उसे पुकारे हर हाल में आएगा,
संग में तेरे गीत खुशी के जीवन भर ये गायेगा
तेरी खातिर सारे जग से अकेला ही लड़ जाएगा !!

त्यौहारों में त्यौहार राखी का है बड़ा अनमोल,
रिश्तों के इस बंधन का लगा सके न कोई मोल
जो भी रक्षा का दे वचन वहीं बन जाये अमोल,
जो इस धागे की कीमत समझे पीटे न वो ढोल!!

***

डी के निवातिया

Language: Hindi
Tag: गीत
1 Like · 592 Views
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