*फिर तेरी याद आई दिल रोया है मेरा*
एक अबोध बालक
फिर तेरी याद आई दिल रोया है मेरा
गुफ्तगू के लिए तुमसे ये मासूम तरसा है।
तरस तुम भी जाओगे, , लिख के ले लो
बात करने के लिए हम से ।
बस थोड़ा सब्र करो, कशिश बढ़ने दो
और हमको तुम जैसा होने तो दो,,,❣️🙂
मैं तो समझा था प्रेम जिन्दगी भर सताता है दोनों में से कोई विरला ही भूल पाता है।
अब सजा खुद ही मैंने अकेले ने ये उठाई है।
फिर तेरी याद आई है दिल रोया है मेरा
तरस तुम भी जाओगे, , लिख के ले लो
बात करने के लिए हम से ।
बस थोड़ा सब्र करो, कशिश बढ़ने दो
और हमको तुम जैसा होने तो दो,,,❣️🙂