Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
14 Aug 2022 · 1 min read

पहले तेरे हाथों पर

पहले तेरे हाथों पर
नाम छुपा रहता था मेरा
अब भी तेरे हाथों पर
नाम तो हैं पर छुपा नहीं है

पहले तेरे हाथों पर
नाम सजा रहता था मेरा
अब भी तेरे हाथों पर
नाम तो है पर सजा नहीं हैं

न खता है इनमें मेहंदी कि
न खता है इसमें हाथों कि
मेहंदी का तो काम हैं सजना
हाथों का हैं काम सजाना

Language: Hindi
2 Likes · 258 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
You may also like:
चमत्कार को नमस्कार
चमत्कार को नमस्कार
राजीव नामदेव 'राना लिधौरी'
हम जियें  या मरें  तुम्हें क्या फर्क है
हम जियें या मरें तुम्हें क्या फर्क है
सुखविंद्र सिंह मनसीरत
#drarunkumarshastri♥️❤️
#drarunkumarshastri♥️❤️
DR ARUN KUMAR SHASTRI
किस्मत की लकीरें
किस्मत की लकीरें
Dr Parveen Thakur
एक नई उम्मीद
एक नई उम्मीद
Srishty Bansal
किस कदर है व्याकुल
किस कदर है व्याकुल
सुशील मिश्रा ' क्षितिज राज '
जिम्मेदारी और पिता (मार्मिक कविता)
जिम्मेदारी और पिता (मार्मिक कविता)
Dr. Kishan Karigar
औरत की नजर
औरत की नजर
Annu Gurjar
बिछड़ा हो खुद से
बिछड़ा हो खुद से
Dr fauzia Naseem shad
सुनो पहाड़ की.....!!! (भाग - ४)
सुनो पहाड़ की.....!!! (भाग - ४)
Kanchan Khanna
हंसगति
हंसगति
डॉ.सीमा अग्रवाल
बेटियाँ
बेटियाँ
विजय कुमार अग्रवाल
ज़ब ज़ब जिंदगी समंदर मे गिरती है
ज़ब ज़ब जिंदगी समंदर मे गिरती है
शेखर सिंह
मछलियां, नदियां और मनुष्य / मुसाफ़िर बैठा
मछलियां, नदियां और मनुष्य / मुसाफ़िर बैठा
Dr MusafiR BaithA
उम्मीदें  लगाना  छोड़  दो...
उम्मीदें लगाना छोड़ दो...
Aarti sirsat
कर्म -पथ से ना डिगे वह आर्य है।
कर्म -पथ से ना डिगे वह आर्य है।
Pt. Brajesh Kumar Nayak
*मेघ गोरे हुए साँवरे* पुस्तक की समीक्षा धीरज श्रीवास्तव जी द्वारा
*मेघ गोरे हुए साँवरे* पुस्तक की समीक्षा धीरज श्रीवास्तव जी द्वारा
Dr Archana Gupta
🇮🇳 🇮🇳 राज नहीं राजनीति हो अपना 🇮🇳 🇮🇳
🇮🇳 🇮🇳 राज नहीं राजनीति हो अपना 🇮🇳 🇮🇳
तारकेश्‍वर प्रसाद तरुण
जिंदगी के कुछ चैप्टर ऐसे होते हैं,
जिंदगी के कुछ चैप्टर ऐसे होते हैं,
Vishal babu (vishu)
जय अन्नदाता
जय अन्नदाता
gurudeenverma198
हर लम्हे में
हर लम्हे में
Sangeeta Beniwal
मेरी धुन में, तेरी याद,
मेरी धुन में, तेरी याद,
नील पदम् Deepak Kumar Srivastava (दीपक )(Neel Padam)
मैं राम का दीवाना
मैं राम का दीवाना
Vishnu Prasad 'panchotiya'
रेणुका और जमदग्नि घर,
रेणुका और जमदग्नि घर,
Satish Srijan
तेरा-मेरा साथ, जीवनभर का ...
तेरा-मेरा साथ, जीवनभर का ...
Sunil Suman
चंचल - मन पाता कहाँ , परमब्रह्म का बोध (कुंडलिया)
चंचल - मन पाता कहाँ , परमब्रह्म का बोध (कुंडलिया)
Ravi Prakash
■ एक और परिभाषा
■ एक और परिभाषा
*Author प्रणय प्रभात*
चवपैया छंद , 30 मात्रा (मापनी मुक्त मात्रिक )
चवपैया छंद , 30 मात्रा (मापनी मुक्त मात्रिक )
Subhash Singhai
"इस पृथ्वी पर"
Dr. Kishan tandon kranti
2555.पूर्णिका
2555.पूर्णिका
Dr.Khedu Bharti
Loading...