Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
25 Oct 2022 · 1 min read

दिल की बात

बुरा कभी सोचा नहीं
सबके लिए अच्छा ही सोचता हूं मैं
देखता हूं किसी को उदास तो
उसके दुख में शरीक हो जाता हूं मैं

आज सादा किसी को पसंद नहीं
ये भी जानता हूं मैं
लेकिन इसके लिए सादगी छोड़ दूं
ये तो नहीं कर पाऊंगा मैं

जो चीज़ अच्छी लगती नहीं
उसे अच्छा कह न पाऊंगा मैं
झूठ बोलकर वो मिल भी जाए
फिर भी झूठ न बोल पाऊंगा मैं

नहीं बात करता ज़्यादा मैं कभी
बचपन से ऐसा ही हूं मैं
जाने क्यों भ्रांति फैलाई किसी ने
जान लो, घमंडी नहीं हूं मैं

दोस्ती आदमी देखकर करता हूं
उसकी हैसियत देखकर नहीं
बना लेता हूं दिल से अपना उसे
जो भा जाता है दिल को कहीं

जो कहता है कोई मुझसे
उसे ही सच मानता हूं मैं
क्योंकि साफ दिल है सभी का
आज भी यही मानता हूं मैं

किसी को धोखा देता नहीं
दूसरों से भी यही चाहता हूं मैं
करता है चालाकियां जो मुझसे
उससे मुंह मोड़ जाता हूं मैं

पढ़ लेता हूं चेहरा देखकर
लेकिन मैं किसी से कुछ कहता नहीं
बढ़ जाए दुर्भावना हद से अगर
फिर मैं किसी को छोड़ता नहीं।

Language: Hindi
12 Likes · 3 Comments · 932 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
You may also like:
छह ऋतु, बारह मास हैं, ग्रीष्म-शरद-बरसात
छह ऋतु, बारह मास हैं, ग्रीष्म-शरद-बरसात
महावीर उत्तरांचली • Mahavir Uttranchali
2806. *पूर्णिका*
2806. *पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
शामें दर शाम गुजरती जा रहीं हैं।
शामें दर शाम गुजरती जा रहीं हैं।
शिव प्रताप लोधी
बुदबुदा कर तो देखो
बुदबुदा कर तो देखो
Mahender Singh
मंज़र
मंज़र
अखिलेश 'अखिल'
💐प्रेम कौतुक-346💐
💐प्रेम कौतुक-346💐
शिवाभिषेक: 'आनन्द'(अभिषेक पाराशर)
रमेशराज की 3 तेवरियाँ
रमेशराज की 3 तेवरियाँ
कवि रमेशराज
याद रखना
याद रखना
Dr fauzia Naseem shad
एडमिन क हाथ मे हमर सांस क डोरि अटकल अछि  ...फेर सेंसर ..
एडमिन क हाथ मे हमर सांस क डोरि अटकल अछि ...फेर सेंसर .."पद्
DrLakshman Jha Parimal
चलो मौसम की बात करते हैं।
चलो मौसम की बात करते हैं।
Prabhu Nath Chaturvedi "कश्यप"
ये इंसानी फ़ितरत है जनाब !
ये इंसानी फ़ितरत है जनाब !
पूर्वार्थ
दुनियां की लिहाज़ में हर सपना टूट के बिखर जाता है
दुनियां की लिहाज़ में हर सपना टूट के बिखर जाता है
'अशांत' शेखर
स्पेशल अंदाज में बर्थ डे सेलिब्रेशन
स्पेशल अंदाज में बर्थ डे सेलिब्रेशन
Dr. Pradeep Kumar Sharma
निकट है आगमन बेला
निकट है आगमन बेला
डॉ.सीमा अग्रवाल
लम्हे
लम्हे
Dr. Ramesh Kumar Nirmesh
श्राद्ध ही रिश्तें, सिच रहा
श्राद्ध ही रिश्तें, सिच रहा
Anil chobisa
Not longing for prince who will give you taj after your death
Not longing for prince who will give you taj after your death
Ankita Patel
तिरंगा बोल रहा आसमान
तिरंगा बोल रहा आसमान
तारकेश्‍वर प्रसाद तरुण
"बेखुदी "
Pushpraj Anant
कविता: स्कूल मेरी शान है
कविता: स्कूल मेरी शान है
Rajesh Kumar Arjun
मोहतरमा कुबूल है..... कुबूल है /लवकुश यादव
मोहतरमा कुबूल है..... कुबूल है /लवकुश यादव "अज़ल"
लवकुश यादव "अज़ल"
वर्तमान समय मे धार्मिक पाखण्ड ने भारतीय समाज को पूरी तरह दोह
वर्तमान समय मे धार्मिक पाखण्ड ने भारतीय समाज को पूरी तरह दोह
शेखर सिंह
तुम्हारी याद है और उम्र भर की शाम बाकी है,
तुम्हारी याद है और उम्र भर की शाम बाकी है,
Ankur Rawat
दर्द
दर्द
Satish Srijan
पेटी वाला बर्फ( बाल कविता)
पेटी वाला बर्फ( बाल कविता)
Ravi Prakash
#देसी ग़ज़ल
#देसी ग़ज़ल
*Author प्रणय प्रभात*
शक्तिशालिनी
शक्तिशालिनी
Jeewan Singh 'जीवनसवारो'
रखा जाता तो खुद ही रख लेते...
रखा जाता तो खुद ही रख लेते...
कवि दीपक बवेजा
Raat gai..
Raat gai..
Vandana maurya
महिलाएं अक्सर हर पल अपने सौंदर्यता ,कपड़े एवम् अपने द्वारा क
महिलाएं अक्सर हर पल अपने सौंदर्यता ,कपड़े एवम् अपने द्वारा क
Rj Anand Prajapati
Loading...