Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
10 Jan 2023 · 1 min read

तब मैं कविता लिखता हूँ

….तब मैं कविता लिखता हूँ
जब बछड़े को दूध पिलाती कोई गैया।
चोंच में चूजे को दाना ले जाती गौरैया।
कोई बन्दरी छाती पर बच्चा चिपटाकर ढोती।
नन्हीं चींटी चीनी लेकर जा रही होती।
प्रेम भरी इस छटा को रूककर लखता हूँ।
….तब मैं कविता लिखता हूँ।

जब कोई प्रियसी केश संवार रही हो,
अपने प्रियतम को मौन निहार रही हो।
साजन गजरा लेकर आ जाता जब,
हाथों से सजनी के केश सजाता तब।
प्रणय के पल को बंदों में भखता हूँ।
….तब मैं कविता लिखता हूँ।

सरहद पर चौकन्ना सैनिक जाग रहा है,
जिसे देख घबराया दुश्मन भाग रहा है।
कदमताल करती फौजों की टोली,
गर्दन ऊंची किये बढ़े करते जय बोली।
टोली की लय को मैं भी सिखता हूँ,
….तब मैं कविता लिखता हूँ।

घाव के कारण रोगी कोई कराह रहा हो,
और चिकित्सक लाचारी दोहराए रहा हो।
आंख तड़पकर झरनावत बन जाती है।
चीख भरी पीड़ा जब बहुत डराती है।
निज भावों के घावों पर मरहम रखता हूँ।
….तब मैं कविता लिखता हूँ।

कभी कभी नीरवपन को मैं चुन लेता।
असत भरे तम सन्नाटे को सुन लेता।
अंतर्मन कहता अंधियारा जाए कैसे?
हृदयांगन देदीप्यमान हो पाये कैसे?
हाथ फैलाये उसके दर पर भिक्षुक सा दिखता हूँ।
….तब मैं कविता लिखता हूँ।

-सतीश सृजन, लखनऊ

Language: Hindi
435 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
Books from Satish Srijan
View all
You may also like:
कोई किसी से सुंदरता में नहीं कभी कम होता है
कोई किसी से सुंदरता में नहीं कभी कम होता है
Shweta Soni
पिटूनिया
पिटूनिया
अनिल मिश्र
हे मनुज श्रेष्ठ
हे मनुज श्रेष्ठ
Dr.Pratibha Prakash
अनुप्रास अलंकार
अनुप्रास अलंकार
नूरफातिमा खातून नूरी
जरूरी तो नहीं
जरूरी तो नहीं
Madhavi Srivastava
जहर मिटा लो दर्शन कर के नागेश्वर भगवान के।
जहर मिटा लो दर्शन कर के नागेश्वर भगवान के।
सत्य कुमार प्रेमी
💐प्रेम कौतुक-396💐
💐प्रेम कौतुक-396💐
शिवाभिषेक: 'आनन्द'(अभिषेक पाराशर)
नवल प्रभात में धवल जीत का उज्ज्वल दीप वो जला गया।
नवल प्रभात में धवल जीत का उज्ज्वल दीप वो जला गया।
Neelam Sharma
2404.पूर्णिका
2404.पूर्णिका
Dr.Khedu Bharti
जय श्री गणेशा
जय श्री गणेशा
Suman (Aditi Angel 🧚🏻)
कहानियां ख़त्म नहीं होंगी
कहानियां ख़त्म नहीं होंगी
Shekhar Chandra Mitra
पति की खुशी ,लंबी उम्र ,स्वास्थ्य के लिए,
पति की खुशी ,लंबी उम्र ,स्वास्थ्य के लिए,
ओनिका सेतिया 'अनु '
*चौदह अगस्त को मंथन से,निकला सिर्फ हलाहल था
*चौदह अगस्त को मंथन से,निकला सिर्फ हलाहल था
Ravi Prakash
मेरे दिल मे रहा जुबान पर आया नहीं....,
मेरे दिल मे रहा जुबान पर आया नहीं....,
कवि दीपक बवेजा
" अलबेले से गाँव है "
भगवती प्रसाद व्यास " नीरद "
प्रेम में राग हो तो
प्रेम में राग हो तो
हिमांशु Kulshrestha
धरती का बेटा गया,
धरती का बेटा गया,
नील पदम् Deepak Kumar Srivastava (दीपक )(Neel Padam)
गणेश चतुर्थी
गणेश चतुर्थी
Surinder blackpen
अन्न का मान
अन्न का मान
Dr. Pradeep Kumar Sharma
ख्वाइश है …पार्ट -१
ख्वाइश है …पार्ट -१
Vivek Mishra
फिदरत
फिदरत
Swami Ganganiya
মানুষ হয়ে যাও !
মানুষ হয়ে যাও !
Ahtesham Ahmad
''आशा' के मुक्तक
''आशा' के मुक्तक"
Dr. Asha Kumar Rastogi M.D.(Medicine),DTCD
अभिमान
अभिमान
Neeraj Agarwal
आश भरी ऑखें
आश भरी ऑखें
Jeewan Singh 'जीवनसवारो'
*
*"गुरू पूर्णिमा"*
Shashi kala vyas
आचार्य शुक्ल के उच्च काव्य-लक्षण
आचार्य शुक्ल के उच्च काव्य-लक्षण
कवि रमेशराज
#क़तआ (मुक्तक)
#क़तआ (मुक्तक)
*Author प्रणय प्रभात*
अनवरत....
अनवरत....
पंकज पाण्डेय सावर्ण्य
..सुप्रभात
..सुप्रभात
आर.एस. 'प्रीतम'
Loading...