Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
18 Aug 2022 · 1 min read

कहे कबीर दीवाना

साधो! सहज समाधि भली
संतो! सहज समाधि भली
लड़ते हिंदू राम-राम करके
मुस्लिम करके अली-अली
समझा-समझाकर हार गए
कितने अवतार-कितने वली
साधो!सहज समाधि भली
संतो! सहज समाधि भली…
एक ही सच है दुनिया में
और नहीं कोई भी दूजा
मेहनतकश लोग हैं हम
काम ही अपने लिए पूजा
कबीरा यही गाता फिरता
गांव-गांव और गली-गली
साधो!सहज समाधि भली
संतो!सहज समाधि भली…
#Geetkar
Shekhar Chandra Mitra
#KabeerReturns

Language: Hindi
Tag: गीत
135 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
You may also like:
■ आज का संदेश...
■ आज का संदेश...
*Author प्रणय प्रभात*
23/16.छत्तीसगढ़ी पूर्णिका
23/16.छत्तीसगढ़ी पूर्णिका
Dr.Khedu Bharti
हो गये अब हम तुम्हारे जैसे ही
हो गये अब हम तुम्हारे जैसे ही
gurudeenverma198
जैसे ये घर महकाया है वैसे वो आँगन महकाना
जैसे ये घर महकाया है वैसे वो आँगन महकाना
Dr Archana Gupta
ग़ज़ल
ग़ज़ल
ईश्वर दयाल गोस्वामी
*
*"कार्तिक मास"*
Shashi kala vyas
ग़ज़ल सगीर
ग़ज़ल सगीर
डॉ सगीर अहमद सिद्दीकी Dr SAGHEER AHMAD
जलाना आग में ना ही मुझे मिट्टी में दफनाना
जलाना आग में ना ही मुझे मिट्टी में दफनाना
VINOD CHAUHAN
तुम कभी यह चिंता मत करना कि हमारा साथ यहाँ कौन देगा कौन नहीं
तुम कभी यह चिंता मत करना कि हमारा साथ यहाँ कौन देगा कौन नहीं
Dr. Man Mohan Krishna
कहानी :#सम्मान
कहानी :#सम्मान
Usha Sharma
अब सच हार जाता है
अब सच हार जाता है
Dr fauzia Naseem shad
*नहीं हाथ में भाग्य मनुज के, किंतु कर्म-अधिकार है (गीत)*
*नहीं हाथ में भाग्य मनुज के, किंतु कर्म-अधिकार है (गीत)*
Ravi Prakash
क्या कर लेगा कोई तुम्हारा....
क्या कर लेगा कोई तुम्हारा....
Suryakant Dwivedi
हुनर मौहब्बत के जिंदगी को सीखा गया कोई।
हुनर मौहब्बत के जिंदगी को सीखा गया कोई।
Phool gufran
फल आयुष्य
फल आयुष्य
DR ARUN KUMAR SHASTRI
मातृ दिवस
मातृ दिवस
सुरेश कुमार चतुर्वेदी
"बाकी"
Dr. Kishan tandon kranti
मेरे सपनों का भारत
मेरे सपनों का भारत
Neelam Sharma
जिनमें कोई बात होती है ना
जिनमें कोई बात होती है ना
Ranjeet kumar patre
तन्हाई
तन्हाई
नवीन जोशी 'नवल'
पुकार
पुकार
Manu Vashistha
आज कल कुछ इस तरह से चल रहा है,
आज कल कुछ इस तरह से चल रहा है,
kumar Deepak "Mani"
ऐ ख़ुदा इस साल कुछ नया कर दें
ऐ ख़ुदा इस साल कुछ नया कर दें
Keshav kishor Kumar
सर्दी में जलती हुई आग लगती हो
सर्दी में जलती हुई आग लगती हो
Jitendra Chhonkar
मेरी कलम......
मेरी कलम......
Naushaba Suriya
पेड़ पौधों के प्रति मेरा वैज्ञानिक समर्पण
पेड़ पौधों के प्रति मेरा वैज्ञानिक समर्पण
Ms.Ankit Halke jha
जब तू रूठ जाता है
जब तू रूठ जाता है
सुरेन्द्र शर्मा 'शिव'
मनोरमा
मनोरमा
सुरेश अजगल्ले 'इन्द्र '
सेंगोल की जुबानी आपबिती कहानी ?🌅🇮🇳🕊️💙
सेंगोल की जुबानी आपबिती कहानी ?🌅🇮🇳🕊️💙
तारकेश्‍वर प्रसाद तरुण
💐प्रेम कौतुक-502💐
💐प्रेम कौतुक-502💐
शिवाभिषेक: 'आनन्द'(अभिषेक पाराशर)
Loading...