ईश्वर से परिचय
आज सुबह ईश्वसर से परिचय हुआ है मेरा,-
गीत गाते उमंगो से भरे परिंदो की चहचहाट मै, नव जीवन को संचार करती सूरज की रश्मियों मै,
हँसते फूलो पर मँडराते भंवरो की गुंजन मैं,
शीतल मंद मंद पवन की संगीत मैं बहते पतो की सरसराहट मैं,
बहती नदी की कल कल ध्वनी मैं,
आज सांय फिर मिलेंगे मुझे,
डूबते सूरज की लालिमा मैं,
धवल चंद्रमा की फैली चांदनी मैं,
नन्हे नन्हे टिमटिमाते तारो के विस्तृत आकाश मैं,
थके नींद की आगोश मैं समाये मानव मैं ,
अस्तित्व में समाहित प्रकृति के ईश्वरीय आनंद मैं,
धन्यवाद ,कृतज्ञता ज्ञापित करते मनुष्य मै,
सत्येंद्र अग्रवाल