कागजी फूलों से
इंसान से इंसान का तकरार सा है।
मशीनों से सबका इकरार सा है।
चमन गुल की खुशबू छोड़ कर,
कागजी फूलों से प्यार सा है।
सतीश सृजन
इंसान से इंसान का तकरार सा है।
मशीनों से सबका इकरार सा है।
चमन गुल की खुशबू छोड़ कर,
कागजी फूलों से प्यार सा है।
सतीश सृजन