इंकलाब काहे ना होला!
आदिवासी के लगे
ज़मीन काहे ना होला
दलित के लगे
ज़ायदाद काहे ना होला…
(१)
का-का होला
ये देश में सदियन से
बाकिर कबो
इंकलाब काहे ना होला…
(२)
आज़ादी औरी
बराबरी के सवाल के
कवनो धर्म ग्रंथ में
ज़वाब काहे ना होला…
(३)
गाय के हत्या पर
सरकार हिल जाला
औरत के हत्या पर
एहतिजाज काहे ना होला…
(४)
महंगाई औरी
बेरोज़गारी के मुद्दा पर
मीडिया के मुंह में
आवाज़ काहे ना होला…
(५)
बिना कवनो
भेद-भाव के सबके
मुफ़्त में शिक्षा औरी
इलाज काहे ना होला…
(६)
कबले ई समाज
दरे पर सड़त रही
एगो नया दौर के
आगाज़ काहे ना होला…
#Geetkar
Shekhar Chandra Mitra
#AmbedkarVision
#BhagatSinghReturns