**** अँखियों में प्यास है ****
30.6.2017 प्रातः 5.21
अँखियों में प्यास है ये दिल उदास है
कहते नही हो तुम अलग ये बात है
अँखियों में प्यास है ये दिल उदास है
रंगरंगत तुम्हारे चेहरे -महज उजास है
अँखियों में प्यास है ये दिल उदास है
दिल की लगी है ना कोई दिल्लगी है
अँखियों में प्यास है ये दिल उदास है
देदे दिलासा दिल को ये और बात है
अँखियों में प्यास है ये दिल उदास है
मायावरण-मोह दुनियां का डर जो है
अँखियों में प्यास है ये दिल उदास है
दर छोड़ दर-दर ना भटके डर जो है
अँखियों में प्यास है ये दिल उदास है
नाजुक है दिल बहुत ये ओर बात है
अँखियों में प्यास है ये दिल उदास है
मिलती नही है मौत मन-चाही बात है
अँखियों में प्यास है ये दिल उदास है
कहदे जुबां से ख़ुश हैं ये ओर बात है
अँखियों में प्यास है ये दिल उदास है
अँखियों में प्यास है ये दिल उदास है।।
?मधुप बैरागी