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20 Feb 2023 · 1 min read

■ समझाइश…

“दुनिया बड़ी ज़ालिम है। इसे किसी का सपना देखना भी नहीं सुहाता। सफल होते कैसे देखेगी किसी को?”
【प्रणय प्रभात】

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