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4 Apr 2024 · 1 min read

सेवा या भ्रष्टाचार

सेवा या भ्रष्टाचार
घूम रहे द्वार द्वार
गले गले तक डकार गए
जनता के सामने नकार गए
कट्टर ईमानदार
अब जेल में पड़े हैं
चोर उचक्के बेईमान
सब समर्थन में खड़े हैं
सबके कंधों पर
भ्रष्टाचार के सितारे जड़े हैं
आज सभी जनता के
पैरों में पड़े हैं
जनता तो जनता है
सबको जानती है
बाहर की छोड़िए
अंदर तक पहचानती है
अब तो गेंद जनता के पाले में है
किसको रास्ता दिखाएगी
किसको सिंहासन दिलाएगी
अभी गर्भ के नाले में है
सुरेश कुमार चतुर्वेदी

Language: Hindi
1 Like · 114 Views
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