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22 Sep 2024 · 1 min read

वक्त जब उचित न हो तो , वक्त के अनुरूप चलना ही उचित होता है,

वक्त जब उचित न हो तो , वक्त के अनुरूप चलना ही उचित होता है,
क्योंकि वक्त की मार, किस्मत के मार से ज्यादा तकलीफ देता है।

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