Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
23 Dec 2023 · 1 min read

राष्ट्रीय किसान दिवस

राष्ट्रीय किसान दिवस के उपलक्ष्य में सभी अन्नदाताओं को समर्पित मेरी स्वरचित पंक्तियाँ 👇👇👇

कोई होटल की बिखरी ओस में भींग रहा है
कोई खेतों की गर्मी से खुद को सींच रहा है

कोई पकवानों के जैसा फल फूल रहा है
कोई पेड़ों की शाखों पर झूल रहा है

न मिलता किसी को पेट भर खाने को है
किसी का देखकर खाने को मन ऊब रहा है

कोई खुद में ही लाचारी को महसूस कर रहा है
कोई जेबों से लापरवाही को बस फूंक रहा है

कोई भरता है मोटर से जिंदगी की उड़ानों को
कोई पग पग पे अपनो के लिए बस लड़ रहा है

कोई करता है गैरों से गिला अपनी नुमाइश का
कोई बिखरे हुए सपनो को लेकर दम तोड़ रहा है ।

!! आकाशवाणी !!

Language: Hindi
261 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.

You may also like these posts

मैं  नहीं   हो  सका,   आपका  आदतन
मैं नहीं हो सका, आपका आदतन
महावीर उत्तरांचली • Mahavir Uttranchali
* मन बसेगा नहीं *
* मन बसेगा नहीं *
surenderpal vaidya
ज़िंदगी की जंग
ज़िंदगी की जंग
Dr. Rajeev Jain
वीर अभिमन्यु– कविता।
वीर अभिमन्यु– कविता।
Abhishek Soni
Ranjeet Kumar Shukla- Hajipur
Ranjeet Kumar Shukla- Hajipur
हाजीपुर
गीत- उसी को वोट डालो तुम
गीत- उसी को वोट डालो तुम
आर.एस. 'प्रीतम'
मुखौटे
मुखौटे
Shaily
मेरे पास, तेरे हर सवाल का जवाब है
मेरे पास, तेरे हर सवाल का जवाब है
Bhupendra Rawat
एक ही आसरौ मां
एक ही आसरौ मां
जितेन्द्र गहलोत धुम्बड़िया
*चुनावी कुंडलिया*
*चुनावी कुंडलिया*
Ravi Prakash
हिन्दी ग़ज़लः सवाल सार्थकता का? +रमेशराज
हिन्दी ग़ज़लः सवाल सार्थकता का? +रमेशराज
कवि रमेशराज
मासूम कोयला
मासूम कोयला
singh kunwar sarvendra vikram
यक्षिणी- 23
यक्षिणी- 23
Dr MusafiR BaithA
बंदर के हाथ में उस्तरा
बंदर के हाथ में उस्तरा
Shekhar Chandra Mitra
मसान.....
मसान.....
Manisha Manjari
मोर
मोर
Prithvi Singh Beniwal Bishnoi
..
..
*प्रणय*
*मन राह निहारे हारा*
*मन राह निहारे हारा*
Poonam Matia
प्रेम
प्रेम
Kshma Urmila
कभी उन बहनों को ना सताना जिनके माँ पिता साथ छोड़ गये हो।
कभी उन बहनों को ना सताना जिनके माँ पिता साथ छोड़ गये हो।
Sandhya Chaturvedi(काव्यसंध्या)
अगर हौसला हो तो फिर कब ख्वाब अधूरा होता है,
अगर हौसला हो तो फिर कब ख्वाब अधूरा होता है,
Shweta Soni
मिरे मिसरों को ख़यालात मत समझिएगा,
मिरे मिसरों को ख़यालात मत समझिएगा,
Shwet Kumar Sinha
आप शिक्षकों को जिस तरह से अनुशासन सिखा और प्रचारित कर रहें ह
आप शिक्षकों को जिस तरह से अनुशासन सिखा और प्रचारित कर रहें ह
Sanjay ' शून्य'
20. I'm a gender too !
20. I'm a gender too !
Ahtesham Ahmad
** हद हो गई  तेरे इंकार की **
** हद हो गई तेरे इंकार की **
सुखविंद्र सिंह मनसीरत
दर्द तड़प जख्म और आँसू
दर्द तड़प जख्म और आँसू
Mahesh Tiwari 'Ayan'
संगीत विहीन
संगीत विहीन
Mrs PUSHPA SHARMA {पुष्पा शर्मा अपराजिता}
जो थक बैठते नहीं है राहों में
जो थक बैठते नहीं है राहों में
REVATI RAMAN PANDEY
हक़ीक़त ये अपनी जगह है
हक़ीक़त ये अपनी जगह है
Dr fauzia Naseem shad
बदल गयो सांवरिया
बदल गयो सांवरिया
Khaimsingh Saini
Loading...