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8 Sep 2024 · 1 min read

“रहमतों के भरोसे”

“रहमतों के भरोसे”
सिर्फ रहमतों के भरोसे पर ही ना बैठिए कभी,
बगैर मेहनत के चमन में कोई शबाब नहीं होता।

2 Likes · 2 Comments · 37 Views
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