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11 May 2024 · 1 min read

यूँही चलते है कदम बेहिसाब

यूँही चलते है कदम बेहिसाब
रुकने को मंजूर नही
शोर नही करते
ख़ामोशी से बनाते है अपना अलग मुकाम
वाही वाही लूटने कें
सच्चे विजेता होते शौकीन नही✌🏻

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