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31 Mar 2024 · 1 min read

यह जो आँखों में दिख रहा है

यह जो आँखों में दिख रहा है
वह भी हमें अभी मिला नहीं
हर रास्ता रास्ता ही है केवल
मंजिलों का सिलसिला नहीं

✍️कवि
𝓓𝓮𝓮𝓹𝓪𝓴 𝓼𝓪𝓻𝓪𝓵 𝓭𝓮𝓮𝓰

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