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22 Feb 2024 · 1 min read

यही तो मजा है

अंधेरे और दिन के लिए
फर्क सिर्फ इतना है
अँधेरा तो अँधेरा है
यह दिन का उजाला है
आप रात में रोशनी देख सकते हैं
यदि आप दिन में अपनी आँखें बंद करते हैं
हम अंधेरा देख सकते हैं
इसलिए…..
क्या आपको एक रात की ज़रूरत है?
वहाँ है
दिन हमारा है
इसकी जरूरत है
लेकिन…हम सोने के लिए सिर्फ
अंधेरे की तलाश नहीं करते
दिन के उजाले की तलाश में
जागते रहो
अपनी आँखें बंद करें
काला पड़ना
अच्छे से सो…
हम आलस्य का क्रम हैं…

+ ओत्तेरी सेल्वा कुमार

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