Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
11 Apr 2020 · 1 min read

जिनके ज़ुल्मों को हम सह गए | ग़ज़ल | मोहित नेगी मुंतज़िर

जिनके ज़ुल्मों को हम सह गए
वो हमें बेवफ़ा कह गए।

ख़्वाब वो मिलके देखे हुए
आंसुओं में सभी बह गए।

तुम न आये नज़र दूर तक
राह हम देखते रह गए।

रो पड़ा गांव में जा के मैं
मेरे पुश्तैनी घर ढह गए।

जिंदगी के हर इक मोड़ पर
ज़ख़्म जलते हुए रह गए।

‘मुंतज़िर’ ढाल कर शेर में
अपनी बातों को क्यों कह गए।

1 Comment · 151 Views
You may also like:
***
*** " पापा जी उन्हें भी कुछ समझाओ न...! "...
VEDANTA PATEL
तेजस्वी यादव
तेजस्वी यादव
Shekhar Chandra Mitra
दलदल में फंसी
दलदल में फंसी
Umesh उमेश शुक्ल Shukla
कविता
कविता
Rambali Mishra
खुले आँगन की खुशबू
खुले आँगन की खुशबू
Manisha Manjari
कोशिस करो कि दोगले लोगों से
कोशिस करो कि दोगले लोगों से
Shankar J aanjna
कैलेंडर
कैलेंडर
Shiva Awasthi
🌷 चंद अश'आर 🌷
🌷 चंद अश'आर 🌷
डॉक्टर वासिफ़ काज़ी
Green and clean
Green and clean
Aditya Prakash
"राम-नाम का तेज"
Prabhudayal Raniwal
करुणा के बादल...
करुणा के बादल...
डॉ.सीमा अग्रवाल
मशहूर हो जाऊं
मशहूर हो जाऊं
सुशील कुमार सिंह "प्रभात"
ज़िंदगी ख़्वाब तो नहीं होती
ज़िंदगी ख़्वाब तो नहीं होती
Dr fauzia Naseem shad
नागरिकता संशोधन अधिनियम के समर्थन में पदयात्रा
नागरिकता संशोधन अधिनियम के समर्थन में पदयात्रा
Ravi Prakash
बरसात
बरसात
ओमप्रकाश भारती *ओम्*
डॉ अरुण कुमार शास्त्री x एक अबोध बालक x अरुण अतृप्त
डॉ अरुण कुमार शास्त्री x एक अबोध बालक x अरुण...
DR ARUN KUMAR SHASTRI
जनगणना मे मैथिली / Maithili in Population Census / जय मैथिली
जनगणना मे मैथिली / Maithili in Population Census / जय...
Binit Thakur (विनीत ठाकुर)
💐💐मेरे हिस्से में.........💐💐
💐💐मेरे हिस्से में.........💐💐
शिवाभिषेक: 'आनन्द'(अभिषेक पाराशर)
द्रौपदी चीर हरण
द्रौपदी चीर हरण
Ravi Yadav
तुम्हारे  रंग  में  हम  खुद  को  रंग  डालेंगे
तुम्हारे रंग में हम खुद को रंग डालेंगे
shabina. Naaz
मुझको तुम्हारा क्या भरोसा
मुझको तुम्हारा क्या भरोसा
gurudeenverma198
सखी री, होली के दिन नियर आईल, बलम नाहिं आईल।
सखी री, होली के दिन नियर आईल, बलम नाहिं आईल।
राकेश चौरसिया
★क़त्ल ★
★क़त्ल ★
★ IPS KAMAL THAKUR ★
निश्चल छंद और विधाएँ
निश्चल छंद और विधाएँ
Subhash Singhai
■ चिंतन...
■ चिंतन...
*Author प्रणय प्रभात*
छत्रपति शिवाजी महाराज की समुद्री लड़ाई
छत्रपति शिवाजी महाराज की समुद्री लड़ाई
Pravesh Shinde
नवसंवत्सर 2080 कि ज्योतिषीय विवेचना
नवसंवत्सर 2080 कि ज्योतिषीय विवेचना
नंदलाल मणि त्रिपाठी पीताम्बर
षडयंत्रों की कमी नहीं है
षडयंत्रों की कमी नहीं है
सूर्यकांत द्विवेदी
आँखे मूंदकर
आँखे मूंदकर
'अशांत' शेखर
अनूठी दुनिया
अनूठी दुनिया
AMRESH KUMAR VERMA
Loading...