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22 Sep 2022 · 1 min read

ख्याल में तुम

बातों को घुमा-घुमा कर क्यो बात करते हो

🌹सीधा–सीधा कह दो अब इश्क नही हमसे

जाना है तो जाओ, ना रोकेंगे तुमको सनम

🌹करेंगे दुआ, मिले तुम्हे अच्छा, कही हमसे

बिछड़ जाने का मलाल तो हमे सदा रहेगा

🌹मुख़ातिब हुए फिर भी तुम हो सही हसमे

याद आये तो तस्वीर देख बातें कर लेंगे

🌹क्योंकि मिरे यादो में मिलेंगी वही हमसे

जहन में सिर्फ एक ही ख़्याल याद आता है

🌹ख़्वाब-ए-हक़ीक़त मिलेंगी कही हमसे

जुड़ी रही ना हुई दिल से कभी भी जुदा तू

🌹शब–ए–चाँद दिखा पर मिला नही हमसे

दरार-ए–दिल भरते जो दिल पर आई थी

🌹दूर जाने का फैसला ना करते कही हमसे

फ़िराक़ में क्या कहूँ ना बात हुई ना देखे है

🌹रुख़ हज़ार मिलेगें दिल मिलेगा नही हमसे

मन का उलझन ही मन को जला देता है

🌹 मन से सवाल को कैसे कहूं वो सही हमसे

©® प्रेमयाद कुमार नवीन
जिला – महासमुन्द (छःग)

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