Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
21 Jun 2024 · 1 min read

कौन कहता है कि “घुटनों में अक़्ल नहीं होती।”

कौन कहता है कि “घुटनों में अक़्ल नहीं होती।”
होती है, तभी तो पेट की तरफ मुड़ते हैं।।
😊प्रणय प्रभात😊

1 Like · 57 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
You may also like:
मुक्तक
मुक्तक
डाॅ. बिपिन पाण्डेय
मैं मगर अपनी जिंदगी को, ऐसे जीता रहा
मैं मगर अपनी जिंदगी को, ऐसे जीता रहा
gurudeenverma198
बघेली कविता -
बघेली कविता -
Priyanshu Kushwaha
आज के बच्चों की बदलती दुनिया
आज के बच्चों की बदलती दुनिया
अनिल कुमार गुप्ता 'अंजुम'
मुझे मुझसे हीं अब मांगती है, गुजरे लम्हों की रुसवाईयाँ।
मुझे मुझसे हीं अब मांगती है, गुजरे लम्हों की रुसवाईयाँ।
Manisha Manjari
शीर्षक - सच (हमारी सोच)
शीर्षक - सच (हमारी सोच)
Neeraj Agarwal
रास्ते अनेको अनेक चुन लो
रास्ते अनेको अनेक चुन लो
उमेश बैरवा
सपना
सपना
लक्ष्मी वर्मा प्रतीक्षा
गुमनाम दिल
गुमनाम दिल
Harsh Malviya
विवाह का आधार अगर प्रेम न हो तो वह देह का विक्रय है ~ प्रेमच
विवाह का आधार अगर प्रेम न हो तो वह देह का विक्रय है ~ प्रेमच
ब्रजनंदन कुमार 'विमल'
*आज छठी की छटा निराली (गीत)*
*आज छठी की छटा निराली (गीत)*
Ravi Prakash
*दिल का आदाब ले जाना*
*दिल का आदाब ले जाना*
sudhir kumar
DR Arun Kumar shastri एक अबोध बालक
DR Arun Kumar shastri एक अबोध बालक
DR ARUN KUMAR SHASTRI
तू अपने आप पे इतना गुरूर मत कर,
तू अपने आप पे इतना गुरूर मत कर,
Dr. Man Mohan Krishna
हमारे जीवन की सभी समस्याओं की वजह सिर्फ दो शब्द है:—
हमारे जीवन की सभी समस्याओं की वजह सिर्फ दो शब्द है:—
पूर्वार्थ
गोवर्धन गिरधारी, प्रभु रक्षा करो हमारी।
गोवर्धन गिरधारी, प्रभु रक्षा करो हमारी।
सुरेश कुमार चतुर्वेदी
😢
😢
*प्रणय*
"वो दौर"
Dr. Kishan tandon kranti
I want to have a sixth autumn
I want to have a sixth autumn
Bindesh kumar jha
जीवन पथ पर सब का अधिकार
जीवन पथ पर सब का अधिकार
गायक - लेखक अजीत कुमार तलवार
दिल टूटने के बाद
दिल टूटने के बाद
Surinder blackpen
कर्म
कर्म
इंजी. संजय श्रीवास्तव
याद रख कर तुझे दुआओं में,
याद रख कर तुझे दुआओं में,
Dr fauzia Naseem shad
जीवन दर्शन मेरी नजर से ...
जीवन दर्शन मेरी नजर से ...
Satya Prakash Sharma
बस इतने के लिए समेट रक्खा है
बस इतने के लिए समेट रक्खा है
शिव प्रताप लोधी
*प्रकृति-प्रेम*
*प्रकृति-प्रेम*
Dr. Priya Gupta
3075.*पूर्णिका*
3075.*पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
चाँदनी .....
चाँदनी .....
sushil sarna
हर ज़िल्लत को सहकर हम..!
हर ज़िल्लत को सहकर हम..!
पंकज परिंदा
बीतते साल
बीतते साल
Lovi Mishra
Loading...