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24 Jan 2023 · 1 min read

उड़ने दो परिंदों को पर खोल लिया है

कई हस्तियों से हमने बैर मोल लिया है,
उड़ने दो परिंदों को पर खोल लिया है |

फतेह करके ही लौटेंगे अब शिखर को
किसी और को नहीं खुद को बोल दिया है ||

✍कवि दीपक सरल

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