Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
23 May 2021 · 1 min read

आल्हा ऊदल बड़े लड़ैया, चम चम चमक रही तलवार।

आल्हा,
आल्हा -ऊदल बड़े लड़ैया, चम- चम चमक रही तलवार।
मची खलबली रण में भारी, होने लगे वार पर वार।।
जब- जब दुश्मन रण में आये,टूट पड़े ऊदल तत्काल।
काट -काट सर धूल चटाते, कर रणभूमि रक्त से लाल।।
आल्हा- ऊदल लड़ी लड़ाई, ऊदल तभी भरी हुँकार।
चुन-चुन सारे दुश्मन मारे,ऊदल करते हैं संहार।।
महाबली ऊदल बलशाली, भीम सरीखे विपुल महान।
सेना जब -जब आल्हा गाये,लड़ने जायें वीर जवान।।

डा.प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम
वरिष्ठ परामर्श दाता, प्रभारी रक्त कोष
जिला चिकित्सालय, सीतापुर।

Language: Hindi
18 Likes · 7 Comments · 22286 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
Books from डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम
View all
You may also like:
जो मेरे लफ्ज़ न समझ पाए,
जो मेरे लफ्ज़ न समझ पाए,
ब्रजनंदन कुमार 'विमल'
गीत लिखूं...संगीत लिखूँ।
गीत लिखूं...संगीत लिखूँ।
Priya princess panwar
मानसिक शान्ति के मूल्य पर अगर आप कोई बहुमूल्य चीज भी प्राप्त
मानसिक शान्ति के मूल्य पर अगर आप कोई बहुमूल्य चीज भी प्राप्त
Paras Nath Jha
रमेशराज की एक तेवरी
रमेशराज की एक तेवरी
कवि रमेशराज
शायरी
शायरी
डॉ मनीष सिंह राजवंशी
2862.*पूर्णिका*
2862.*पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस :इंस्पायर इंक्लूजन
अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस :इंस्पायर इंक्लूजन
Dr.Rashmi Mishra
बेरोजगार लड़के
बेरोजगार लड़के
पूर्वार्थ
ज़िन्दगी में हमेशा खुशियों की सौगात रहे।
ज़िन्दगी में हमेशा खुशियों की सौगात रहे।
Phool gufran
नई खिड़की
नई खिड़की
Saraswati Bajpai
नाराज़गी जताई जा रही है,
नाराज़गी जताई जा रही है,
डॉ. शशांक शर्मा "रईस"
छोड़कर जाने वाले क्या जाने,
छोड़कर जाने वाले क्या जाने,
शेखर सिंह
ॐ शिव शंकर भोले नाथ र
ॐ शिव शंकर भोले नाथ र
Swami Ganganiya
कुछ नहीं चाहिए
कुछ नहीं चाहिए
राधेश्याम "रागी"
"किस किस को वोट दूं।"
Dushyant Kumar
ग़ज़ल (यूँ ज़िन्दगी में आपके आने का शुक्रिया)
ग़ज़ल (यूँ ज़िन्दगी में आपके आने का शुक्रिया)
डॉक्टर रागिनी
प्री वेडिंग की आँधी
प्री वेडिंग की आँधी
Anil chobisa
एक कहानी- पुरानी यादें
एक कहानी- पुरानी यादें
Neeraj Agarwal
रिश्ते
रिश्ते
Ashwani Kumar Jaiswal
सूखी नहर
सूखी नहर
मनोज कर्ण
स्त्री
स्त्री
Dr fauzia Naseem shad
"जर्दा"
Dr. Kishan tandon kranti
मानव निर्मित रेखना, जैसे कंटक-बाड़।
मानव निर्मित रेखना, जैसे कंटक-बाड़।
डॉ.सीमा अग्रवाल
देख लूँ गौर से अपना ये शहर
देख लूँ गौर से अपना ये शहर
Shweta Soni
ये पैसा भी गजब है,
ये पैसा भी गजब है,
Umender kumar
आँखें
आँखें
Kshma Urmila
एक मेरे सिवा तुम सबका ज़िक्र करती हो,मुझे
एक मेरे सिवा तुम सबका ज़िक्र करती हो,मुझे
Keshav kishor Kumar
*चाल*
*चाल*
Harminder Kaur
ग़ज़ल
ग़ज़ल
ईश्वर दयाल गोस्वामी
बड़ी तक़लीफ़ होती है
बड़ी तक़लीफ़ होती है
Davina Amar Thakral
Loading...