Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
8 Feb 2023 · 1 min read

आज कल लोगों के दिल

आज कल लोगों के दिल
रेत के मैदान हुए,
वो दौर और था
जब दिल पे मकां बनते थे।

सतीश सृजन

1 Like · 88 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
You may also like:
बहुत कुछ था कहने को भीतर मेरे
बहुत कुछ था कहने को भीतर मेरे
श्याम सिंह बिष्ट
अक्षय चलती लेखनी, लिखती मन की बात।
अक्षय चलती लेखनी, लिखती मन की बात।
संजीव शुक्ल 'सचिन'
कसूर उनका नहीं मेरा ही था,
कसूर उनका नहीं मेरा ही था,
Vishal babu (vishu)
इश्क़ का दस्तूर
इश्क़ का दस्तूर
सुरेन्द्र शर्मा 'शिव'
गजल सी रचना
गजल सी रचना
Kanchan Khanna
"तवा"
Dr. Kishan tandon kranti
अधरों पर शतदल खिले, रुख़ पर खिले गुलाब।
अधरों पर शतदल खिले, रुख़ पर खिले गुलाब।
डॉ.सीमा अग्रवाल
💐प्रेम कौतुक-364💐
💐प्रेम कौतुक-364💐
शिवाभिषेक: 'आनन्द'(अभिषेक पाराशर)
आजादी का अमृतमहोत्सव एव गोरखपुर
आजादी का अमृतमहोत्सव एव गोरखपुर
नंदलाल मणि त्रिपाठी पीताम्बर
आचार संहिता
आचार संहिता
Seema gupta,Alwar
तुम मोहब्बत में
तुम मोहब्बत में
Dr fauzia Naseem shad
दो शे'र
दो शे'र
डॉक्टर वासिफ़ काज़ी
उसी पथ से
उसी पथ से
Kavita Chouhan
*रिश्ते के लिए खिंचवाया जाने वाला  फोटो (हास्य व्यंग्य)*
*रिश्ते के लिए खिंचवाया जाने वाला फोटो (हास्य व्यंग्य)*
Ravi Prakash
मीठी जलेबी
मीठी जलेबी
rekha mohan
मेरी कलम से…
मेरी कलम से…
Anand Kumar
सृष्टि रचेता
सृष्टि रचेता
RAKESH RAKESH
जो बनना चाहते हो
जो बनना चाहते हो
dks.lhp
#सबक जिंदगी से #
#सबक जिंदगी से #
Ram Babu Mandal
मैं अचानक चुप हो जाती हूँ
मैं अचानक चुप हो जाती हूँ
ruby kumari
चांद ने सितारों से कहा,
चांद ने सितारों से कहा,
Radha jha
चिरकाल तक लहराता अपना तिरंगा रहे
चिरकाल तक लहराता अपना तिरंगा रहे
Suryakant Angara Kavi official
Ye sham adhuri lagti hai
Ye sham adhuri lagti hai
Sakshi Tripathi
जनगणना मे मैथिली / Maithili in Population Census / जय मैथिली
जनगणना मे मैथिली / Maithili in Population Census / जय मैथिली
Binit Thakur (विनीत ठाकुर)
नया सवेरा
नया सवेरा
नन्दलाल सुथार "राही"
प्रेममे जे गम्भीर रहै छैप्राय: खेल ओेकरे साथ खेल खेलाएल जाइ
प्रेममे जे गम्भीर रहै छैप्राय: खेल ओेकरे साथ खेल खेलाएल जाइ
गजेन्द्र गजुर ( Gajendra Gajur )
रोजी रोटी के क्या दाने
रोजी रोटी के क्या दाने
AJAY AMITABH SUMAN
शब्द गले में रहे अटकते, लब हिलते रहे।
शब्द गले में रहे अटकते, लब हिलते रहे।
विमला महरिया मौज
प्रेम
प्रेम
Jeewan Singh 'जीवनसवारो'
" हैं अगर इंसान तो
*Author प्रणय प्रभात*
Loading...